Tuesday, 1 March 2016

दोस्त की गर्लफ्रेंड को चोदकर खुश किया


हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम शिवम है और यह मेरी पहली कहानी है और में उम्मीद करता हूँ कि यह आप सभी को जरुर पसंद आएगी. दोस्तों मुझे सेक्सी कहानियाँ पढ़ना बहुत अच्छा लगता है और में बहुत सालों से सेक्सी कहानियाँ पड़कर मज़े कर रहा हूँ. मुझे किसी भी उम्र की चूत को चोदने में बहुत मज़ा आता है क्योंकि में उसे अपने लंड से चोदकर बिल्कुल शांत कर देता हूँ. दोस्तों में उत्तरप्रदेश का रहने वाला हूँ, लेकिन में अभी दिल्ली में रहता हूँ. मेरी हाईट 5.9 है और में दिखने में एकदम ठीकठाक हूँ.
मेरे लंड का साईज़ 7 इंच है और अब आप सभी का ज़्यादा समय खराब ना करते हुए में सीधे अपनी आज की कहानी पर आता हूँ. दोस्तों यह मेरे एक बहुत ही अच्छे दोस्त की गर्लफ्रेंड और मेरी कहानी है और अभी कुछ समय पहले की एक सच्ची घटना है. अब में अपने दोस्त की गर्लफ्रेंड के बारे में बताता हूँ. दोस्तों उसका नाम नेहा है और उसकी लम्बाई 5.3 है. उसके फिगर का साईज 34 -28 -36 है. दोस्तों उसकी गांड, बूब्स दिखने में बहुत मस्त है और वो हमेशा बिल्कुल चिपके हुए कपड़े पहनती है और उन कपड़ो की वजह से वो और भी ज्यादा सेक्सी लगती है, लेकिन में बस उसे देखकर उससे बात चीत करके अपना काम चला लेता हूँ और हमारे बीच उससे ज्यादा कुछ नहीं हुआ.
फिर एक बार की बात है. मेरे उसी दोस्त ने मुझसे कहा कि उसे अपनी गर्लफ्रेंड से कहीं अकेले में मिलना है तो वो मुझसे बोला कि उसे कोई ऐसी जगह बता दे कि जहाँ पर सिर्फ वो और में बिल्कुल अकेले में मिल सके. वहां पर हमे कोई कुछ कहने वाला ना हो. मैंने उससे बोला कि ठीक है, लेकिन तू थोड़ा समय रुक, में तेरा कोई ना कोई जुगाड़ कर दूँगा. वो मेरी यह बात सुनकर मुझसे बोला कि, लेकिन तू मेरा जुगाड़ थोड़ा जल्दी करवाने की कोशिश करना क्योंकि मुझसे अब बिल्कुल भी सब्र नहीं होता, वैसे हालत उसकी भी कुछ ऐसी ही थी. शायद आग दोनों तरफ बराबर लगी है.
दोस्तों में भी अब उसके मुहं से यह बात सुनकर बहुत खुश हो गया क्योंकि मुझे भी उसे चोदने का मौका मिल सकता था. फिर ऐसे ही करते करते कई दिन निकल गये, लेकिन कोई जुगाड़ नहीं हो सका और फिर एक दिन मैंने उसे फोन किया और उससे कहा कि तू उसे एक दिन मेरे गावं में ले चल वहां पर हमारा एक ट्यूबवेल है जहाँ पर एक छोटा सा कमरा बना हुआ है और वहां पर कोई भी नहीं रहता है. उसने मुझसे बोला कि ठीक है. दोस्तों अब मेरा प्लान काम करने लगा और फिर एक दिन वो मेरे साथ अपनी गर्लफ्रेंड को लेकर मेरे गावं के लिए निकल गया. दोस्तों हम दोनों ड्रिंक करते है तो मैंने एक बॉटल दारू की पहले से ही ले ली थी और फिर वहां पर पहुंचकर मैंने उन दोनों को ट्यूबवेल के रूम में बैठा दिया और में उनसे बोला कि में हमारे लिए कुछ खाने पीने को लाता हूँ.
उनसे यह बात कहकर में वहां से निकल गया और अपने गावं जाकर कोल्ड ड्रिंक और कुछ खाने के लिए ले आया, लेकिन थोड़ी दूर चलने के बाद मैंने रुककर रास्ते में कोल्ड ड्रिंक में शराब मिला दी और लौटकर उनके पास आ गया. अब मैंने वो कोल्ड ड्रिंक उसकी गर्लफ्रेंड को पिलाई और हम दोनों बैठकर पेग पीने लगे. दो पेग अंदर करने के बाद अब मेरे दोस्त को धीरे धीरे नशा होने लगा और अब मेरी नज़र उसकी गर्लफ्रेंड के बूब्स पर थी.
उसने उस समय बिल्कुल टाईट टॉप और जींस पहनी हुई थी. नेहा को भी कुछ देर में नशा असर दिखा रहा था. तभी मेरे दोस्त ने नेहा को अपने पास बुलाकर उसे साईड से पकड़ लिया और फिर वो उससे इधर उधर की बातें करके हुए अपने एक हाथ से धीरे धीरे सहलाने लगा और में उसे घूरे जा रहा था. फिर मैंने इस बात का फायदा उठाकर अपने दोस्त के पेग में ज़्यादा दारू डालकर उसे पिला दी. धीरे धीरे वो नशे में एकदम फेल हो गया और फिर वो वहीं पर लेटकर सो गया.
मैंने देखा कि नेहा भी अब नशे में बैठी हुई झूम रही थी और मैंने अपने दोस्त को उठाने के लिए उसे आवाज़ लगाई और उसे धीरे से हिलाने लगा. में यह देखना चाहता था कि वो सो गया या अभी भी होश में है, लेकिन वो तो एकदम बेसूध होकर पड़ा रहा और फिर मैंने नेहा को एक और छोटा सा पेग पिला दिया और उसके पास जाकर बैठ गया और अब में मौके का फायदा उठाकर उसकी कमर को सहलाने लगा, लेकिन उसने मेरे इस तरह अचानक से उसकी कमर को छूने का कोई भी विरोध नहीं किया. में अब धीरे धीरे उसे सहलाने लगा और कुछ देर बाद मैंने उससे बोला कि चलो अब हम इसे उठाकर चारपाई पर लेटा देते है और फिर मैंने उसकी मदद से अपने दोस्त को चारपाई पर लेटा दिया और अब में नीचे नेहा के पास बैठकर बातें करने लगा.
अब में उसे धीरे धीरे उसकी कमर को सहलाने लगा, लेकिन बहुत देर तक कंट्रोल करने के बाद मैंने अचानक से उसकी जांघ पर अपना हाथ रख दिया और फिर सहलाने लगा, लेकिन वो मुझसे कुछ बोल नहीं पा रही थी. फिर उसने अचानक से अपने हाथ से मेरा हाथ पकड़ कर दूर हटा दिया, लेकिन मैंने एकदम से उसे पकड़कर मैंने उसके नरम, गुलाबी होंठो को चूमना शुरू कर दिया. वो मुझे हटाने लगी, लेकिन उसकी हर एक कोशिश अब एकदम बेकार थी और अब मैंने उसके बूब्स को दबाना शुरू कर दिया. वो रोने लगी, लेकिन थोड़ी देर किस करने और बूब्स को दबाने के बाद वो अब धीरे धीरे जोश में आकर गरम होने लगी थी और वो भी अब मेरे किस का जवाब देने लगी. उसने अब मेरा पूरा पूरा साथ देना शुरू कर दिया.
फिर मैंने सही मौका देखकर उसके टॉप को उतार दिया और मैंने देखा कि उसने अंदर सफेद रंग की जालीदार ब्रा पहनी हुई थी. दोस्तों उसके वाह क्या मस्त बड़े बड़े बूब्स थे, में उसके ऊपर टूट पड़ा और में उसके दोनों बूब्स को अब ज़ोर ज़ोर से सक करने लगा और वो ज़ोर ज़ोर से सिसकियाँ लेने लगी उह्ह्ह हाँ दबाओ इन्हें हाँ और ज़ोर से दबाओ आईईईई और फिर में एक हाथ से उसकी जींस के ऊपर से चूत को सहलाने लगा था. वो अब मोन करने लगी आह्ह्ह्हहह हाँ खा जाओ इन्हे चूसो और तेज चूसो, इन्हे पी जाओ. फिर मैंने उसकी बैचेनी को देखकर उसकी ब्रा को भी जल्दी से उतार दिया और उसके दोनों बूब्स को एकदम आजाद कर दिया.
फिर मैंने उसकी जींस को भी उतार दिया, अब वो मेरे सामने सिर्फ़ पेंटी में थी. अब उसने भी मेरी टी-शर्ट को उतार दिया. में धीरे धीरे ऊपर नीचे चूमता हुआ अब उसकी नाभि को अपनी जीभ से चोदने लगा और वो एकदम से तड़प उठी और अब बहुत ज़ोर ज़ोर से मोन करने लगी. मैंने खड़े होकर अपनी जींस को भी उतार दिया और अब उसकी वो बिल्कुल गीली पेंटी भी जो अब तक चूत रस से पूरी गीली हो चुकी थी, लेकिन दोस्तों उसकी क्या मस्त चूत थी. में तो उसे अपने सामने देखकर एकदम पागल हो गया और अब में उसकी गुलाबी, गीली, कामुक चूत पर टूट पड़ा और फिर में उसकी चूत को चूसने लगा और अपनी जीभ से चोदने लगा. वो अपने दोनों हाथों से मेरे सर को अपनी चूत पर दबा रही थी और कह रही थी कि हाँ खा जाओ इसे उह्ह्ह्ह्ह निकाल दो आज मेरी पूरी गरमी पी जाओ मेरा सारा रस उह्ह्ह्ह आईईइ. दोस्तों अब उसकी चूत का पानी निकलने वाला था क्योंकि वो मुझे उसके उछलने कूदने और फिर एकदम से अकड़ने से पता चल गया.
मैंने उसकी चूत में अपनी उंगली डालकर ज़ोर ज़ोर से अंदर बाहर करके उसका चूत रस निकाल दिया. वो कुछ देर बिल्कुल शांत होकर पड़ी रही, लेकिन वो अपने चेहरे से मुझे बहुत खुश दिख रही थी. मैंने उसकी चूत को चाट चाटकर अच्छी तरफ साफ कर दिया. अब में अपने लंड को उसकी चूत के मुहं पर रगड़ने लगा तभी उसने मुझसे कहा कि क्या बस ऐसे ही करते रहोगे या इसके आगे कुछ और भी करोगे? तो मैंने उसके मुहं से यह बात सुनकर अपने लंड को एक ही झटके में पूरा का पूरा अंदर घुसा दिया और अब में उसे ज़ोर ज़ोर से ताबड़तोड़ धक्के देकर चोदने लगा.
मेरे हर एक धक्के ने उसके मुहं से चीखने, चिल्लाने की आवाज को बढ़ा दिया और मेरा लंड सीधा उसकी बच्चेदानी से टकरा रहा था. जिसकी वजह से वो अब रोने लगी और मुझसे लंड को चूत से बाहर निकालने की बात कहने लगी, लेकिन में बस अपनी मस्ती में मस्त होकर पूरे जोश में आकर उसे धक्के देता रहा और उसने बूब्स को सहलाता रहा और करीब तीस मिनट के लगातार धक्को के बाद में उसकी चूत में झड़ गया. मैंने उसकी चूत को अपने वीर्य से भर दिया और अब में उसके ऊपर लेटकर उसके निप्पल को चूसने लगा.
फिर कुछ देर बाद जब उसे होश आया तो उसने मुझे कसकर अपनी बाहों में जकड़ लिया और मुझे अपनी इस चुदाई के लिए धन्यवाद दिया. उसने मुझसे कहा कि आज तुमने मुझे इस तरह चोदकर बहुत खुश कर दिया है और मुझे तुम्हारा चोदने का तरीका बहुत अच्छा लगा. दोस्तों उसके बाद मैंने उसको कुछ देर बाद एक बार फिर से चोदा और उसके बाद हम तीनों वहां से वापस चले आए और अब में उसको हर कभी अपने पास बुलाकर चोदता हूँ. मैंने एक बार उसको उसके घर पर भी चोदा और बहुत मज़े किए.

बहन ने चुदवाया ब्लू फिल्म की तरह


हैल्लो दोस्तों, में आपको अपनी एक घटना बताने जा रहा हूँ और मुझे उम्मीद है कि आपको ये स्टोरी जरुर पसंद आयेगी. में सेक्स स्टोरी का बहुत पुराना रीडर हूँ तो मैंने सोचा कि में भी अपना पहला सेक्स एक्सपीरियन्स जो कि मेरी तलाकशुदा बहन के साथ था, उसको आप सभी के साथ शेयर करूँ. दोस्तों ये बात उन दिनों की है जब में 19 साल का था और में अपनी स्कूल की पढाई पूरी करके फ्री हुआ था.
दोस्तों में बहुत सुंदर लड़का हूँ क्योंकि जब में छोटा था तो मैंने उस समय से ही जिम जॉइन कर लिया था और उस वजह से मेरी बॉडी अच्छी और टाईट है. मेरा लंड 10 इंच लंबा और 4 इंच मोटा है. दोस्तों में एक अमीर फेमिली से हूँ और में पंजाब का रहने वाला हूँ. मेरी एक बहन है जिसका इस घटना से कुछ टाईम पहले तलाक हो गया था, क्योंकि उसका पति उसको सेक्स से खुश नहीं करता था और उस वजह से उनमें झगड़ा हो गया और फिर तलाक हो गया.
एक दिन घर पर सिर्फ़ वो और में ही थे. में अपने रूम में ब्लू फिल्म देखकर मुठ मार रहा था कि तभी पता नहीं कब वो आकर दरवाजे के पास आकर खड़ी-खड़ी सब देख रही थी और उसने मेरा लंड भी देख लिया था. अब वो मेरे लंड की दीवानी हो गई थी, क्योंकि वो पहले से ही पति से खुशी ना मिलने की वजह से बहुत परेशान थी. अब दोस्तों में उसके बारे में थोड़ा बता दूँ. वो बहुत ही सेक्सी हॉट है और उसका नाम रूपाली है और उसका फिगर 36-28-34 है तो अब में आपका समय ख़राब ना करते हुए सीधा स्टोरी पर आता हूँ. अब मुझे नहीं पता था कि वो मुझे देख रही है. फिर जब में मुठ मारने के बाद जब बाहर गया तो मैंने उसको दरवाज़े के पास बैठे पाया तो में थोड़ा घबरा गया, फिर मैंने उससे पूछा.
में : दीदी आप यहाँ कैसे?
रूपाली : में तब आई थी जब तुम अंदर अपने हाथ से अपना लंड हिला रहे थे.
अब में पूरा घबरा गया.
में : दीदी प्लीज, ये बात किसी को मत बताना.
रूपाली : फ़िक्र मत कर, में किसी को कुछ नहीं बताउंगी.
में : थैंक यू सो मच दीदी.
रूपाली : लेकिन, मेरी एक शर्त है. (थोड़ी नॉटी स्माइल करते हुए)
में : (हैरान होते हुए) क्या शर्त है दीदी?
रूपाली : तू मुझे बिल्कुल वैसे ही चोदेगा, जैसे उस ब्लू फिल्म में लड़का अपनी बहन को चोद रहा था.
अब में हैरानी से उसकी तरफ देख रहा था.
रूपाली : ऐसे क्या देख रहा है? बोल मंजूर है या नहीं?
में : ठीक है दीदी, जैसी आपकी मर्ज़ी, अब वो मुझे एकदम से होंठो पर किस करने लगी और में भी उसको किस करने लगा. फिर मैंने अपना एक हाथ उसके बूब्स पर रखा और हल्का सा दबा दिया. उसके मुँह से आअहह निकल गई. फिर उसने ज़ोर से मेरा लंड पकड़ लिया और फिर उसने मेरी पेंट से मेरा लंड बाहर निकाला और ज़ोर-जोर से मेरे लंड को हिलाने लगी. अब मेरा लंड पूरे जोश में आ गया था.
रूपाली : सन्नी तेरा लंड तो बहुत बड़ा है, जान पहले कहाँ छुपा रखा था? पता है में इतने साल से ऐसा लंड लेने के लिए कितना तड़पी हूँ?
में : अब तो मिल गया ना ज़ान, अब में तेरी सारी कसर पूरी कर दूँगा.
अब में उसके टॉप के ऊपर से उसके बूब्स चूसने लगा. फिर मैंने उसका टॉप उतार दिया और उसने भी मेरी जीन्स उतार दी और मैंने भी उसकी जीन्स उतार दी. अब वो सिर्फ़ ब्रा और पेंटी में थी. फिर मैंने उसकी ब्रा और पेंटी भी उतार दी और उसकी चूत में एक उंगली डाल दी तो उसके मुँह से आआहह निकल गई.
रूपाली : आआआआआअहह सन्नी धीरे डाल जान.
फिर मैंने उसके बूब्स चूसने शुरू किए और वो ज़ोर-ज़ोर से सिसकियाँ लेने लगी आआआआआअहह ऊऊऊऊऊऊहह सन्नी उूउउफफफफफफ्फ़ और ज़ोर से चूस डार्लिंग. अब में उसके बूब्स चूस रहा था और उसकी चूत में अपनी उंगली अन्दर बाहर कर रहा था, जिससे उसकी आँखें बंद हो रही थी.
रूपाली : सन्नी प्लीज और मत तड़पा, अब अपनी बहन को चोद डाल.
में : जानेमन इतनी भी क्या जल्दी है? पहले पूरा मज़ा तो ले लेने दो.
रूपाली : सन्नी प्लीज, अब मुझसे तेरा लंड देखने के बाद और सहन नहीं होता जान.
फिर में बेड पर लेट गया और अब मैंने उसको इशारा किया कि अब वो मेरा लंड चूसे. फिर वो मेरा लंड चूसने लगी. क्या बताऊँ दोस्तों? वो क्या मस्त चूस रही थी और अब वो बिल्कुल रंडी की तरह मेरा लंड चूस रही थी. अब में उसके मुँह में धक्के मारने लगा. और फिर वो 5-10 मिनट तक मेरा लंड चूसने के बाद बोली कि सन्नी प्लीज अब मुझे चोद डाल. फिर मुझे भी उस पर तरस आ गया और फिर मैंने उसको दीवार के साथ चिपकाकर खड़ा किया और उसके सीधे पैर को उठाकर अपने कंधे पर रख लिया. फिर मैंने उसके हाथ में अपना लंड दिया तो उसने मेरा लंड अपनी चूत पर लगा लिया. फिर मैंने एक जोरदार धक्का मारा तो मेरे लंड का टोपा उसकी चूत में चला गया और उसकी चीख निकल गई. अब वो उस पोज़िशन से थोड़ी हिल गई तो मेरा लंड उसकी चूत में से बाहर आ गया. फिर मैंने उसे बेड पर लेटाया और खुद उसके ऊपर लेटकर उस पर अपनी पूरी पकड़ मज़बूत कर ली, ताकि इस बार, वो छूट ना सके.
फिर मैंने उसकी चूत पर लंड रखा और एक जोरदार धक्का मारा, जिससे मेरा लंड थोड़ा अंदर चला गया. तो अब उसको बहुत तेज़ दर्द हुआ और वो चिल्लाने लगी, आआआअहह कुत्ते माररररर दिया मम्मउउम्म्म्मयययययययी बाहररर निकाल, गधे की औलाद, अरे फाड़ दी मेरी चूत आआआआआआआअहह. अब वो ज़ोर-ज़ोर से रोने लगी थी, लेकिन मेरी पकड़ मज़बूत होने के कारण वो छूट ना सकी. फिर वो मुझे बोलने लगी कि प्लीज सन्नी में मर जाउंगी, प्लीज बाहर निकाल, तेरा लंड बहुत बड़ा है. फिर में कुछ देर तक वैसे ही रुक गया और उसके बूब्स चूसने लगा, ताकि उसका दर्द थोड़ा कम हो जाए. अब वो सिसकियाँ लेने लगी थी और फिर 5-7 मिनट के बाद वो नीचे से धक्के लगाने लगी. मैंने भी देर ना करते हुए उसके होंठो में अपने होंठ डालकर एक ज़ोरदार धक्का और मारा और उसकी चूत में से खून निकलने लगा. अब मेरा आधा लंड उसकी चूत में अंदर चला गया था. अब वो मछली की तरह छटपटाने लगी थी, लेकिन वो कुछ कर ना सकी.
अब उसकी आँखों से आँसू आ रहे थे. फिर मैंने उसके दर्द की परवाह किए बिना 2-3 करारे शॉट लगाये और मेरा पूरा लंड उसकी चूत में उतार दिया. अब उसकी आँखें फटी की फटी रह गई और वो बेहोश सी हो गई. फिर में एकदम से वहीं रुक गया और ज़ोर-ज़ोर से उसके बूब्स चूसने लगा. फिर कुछ देर के बाद वो होश में आई और मुझे ज़ोर-ज़ोर से पीछे धकेलने लगी, लेकिन में कहाँ रुकने वाला था. फिर मैंने ज़ोर-ज़ोर से धक्के मारने शुरू किए और उसको चोदने लगा. फिर थोड़ी देर के बाद उसे भी मज़ा आने लगा और अब वो भी जोश में चिल्लाने लगी, आआआअहह जान चोद मुझे, सन्नी ज़ोर से चोद, आआहह उूउउफफफफफफफफ्फ़, क्या लंड है जान? आज में स्वर्ग में हूँ, डार्लिंग लव यू सो मच, सन्नी, ऊऊऊहह आज अपनी बहन को चोद दे.
अब में भी उसके होंठ पर किस करने लगा. फिर उसने मुझे ज़ोर से पकड़ लिया और झड़ गई, लेकिन में अब भी उसको ज़ोर-ज़ोर से चोद रहा था. फिर मैंने उसको घोड़ी बनने को कहा तो वो झट से घोड़ी बन गई. फिर मैंने उसके पीछे से चूत में लंड डाल दिया और उसको ज़ोर-ज़ोर से चोदने लगा. तो वो फिर से चिल्लाने लगी, आआआहह सन्नी आई लव यू सो मच जान और चोद मुझे, रंडी की तरह चोद, मुझे आज पूरा मज़ा दे जान. फिर 25-30 मिनट तक चोदने के बाद मैंने अपना सारा पानी उसकी चूत में ही छोड़ दिया और उसके ऊपर ही लेट गया. फिर रूपाली ने मुझे किस किया और थैंक यू बोला. फिर वो बोली कि उसे आज से पहले इतना मजा कभी नहीं आया और उसे तो आज ही पता चला है कि चुदाई होती क्या है.

मेरी बहन ख्याति की जवानी

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रूपाली भाभी के साथ नंगा शो


हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम अक्षत है और में भी आप ही की तरह लगातार सेक्सी कहानियाँ पढ़ता हूँ और ऐसा पिछले आठ सालों से करता आ रहा हूँ और मैंने अब तक इसकी बहुत सारी कहानियाँ पढ़ी है, लेकिन आज में आप सभी को अपनी खुद की एक सच्ची कहानी सुनाने जा रहा हूँ और वैसे तो मेरे बहुत से सेक्स अनुभव रहे है, लेकिन अभी वो बताने जा रहा हूँ, जो मेरा अब तक का सबसे अच्छा और हॉट सेक्स अनुभव रहा.
दोस्तों में दिल्ली का रहने वाला हूँ और मेरी उम्र 24 साल, गोरा रंग और में लम्बाई 5.7 का एक पंजाबी लड़का हूँ और वैसे तो मुझे देखकर मुझ पर बहुत सी लड़कियाँ लाईन मारती है, लेकिन मेरी कमजोरी समझदार लड़कियाँ या फिर भारी साईज़ की औरतें है और मेरी इच्छा हमेशा से ही किसी बड़ी उम्र की भाभी के साथ सेक्स करने की थी और मेरी यह इच्छा पिछले महीने पूरे हुई जब मैंने रूपाली भाभी से मिलकर उन्हें चोदा.
दोस्तों रूपाली भाभी मेरी एक पड़ोसन है और मेरे सामने वाले घर में किराए से रहती है और रूपाली भाभी के पास हर वो चीज़ है, जो एक लड़का एक लड़की से माँगता है या उससे पाने की उम्मीद करता है और उनके साथ सेक्स करने के लिए उनके वो बड़े साईज़ के बूब्स, बड़ी सी मटकती हुई गांड हर किसी को अपनी तरफ आकर्षित करती थी और वो हमेशा से ही प्यारे छोटे से एकदम टाईट सूट पहने हुए नज़र आती थी और उनका चेहरा जिससे तो वो और भी मस्त लगती थी.
दोस्तों रूपाली भाभी जब से हमारे वहां पर रहने आई थी, तब से ही में उनकी नज़रे देखता था, क्योंकि मुझे उन पर शक था कि वो हर एक लड़के को अपनी भूखी नज़रो से देखती थी और अब में उनके इस देखने के तरीके से समझ गया था कि वो क्या चाहती है? अब धीरे धीरे रूपाली भाभी से हमारे घरवालों की भी बहुत ज्यादा बातचीत होने लगी थी और अब उनसे हमारी बात बहुत अच्छी बन गई और वो हम लोगों से घुल मिलकर रहने लगी थी.
दोस्तों मेरा बेडरूम हमारे घर की पहली मंजिल पर है और वो बालकनी के एक साईड में है, जिसकी वजह से मेरे रूम से रूपाली भाभी का रूम मुझे हमेशा साफ साफ दिखाई देता है, क्योंकि वो मेरे ठीक सामने वाले मकान में पहली मंजिल पर किराए से रहती है तो हमारे बीच में अक्सर बालकनी में ही स्माईल पास हो जाती थी और फिर धीरे धीरे थोड़े समय के बाद हमारे बीच अब हाय हैल्लो भी होने लगी थी. एक दिन शाम को में पास के ही एक पार्क में घूम रहा था कि तभी मैंने देखा कि भाभी भी वहां पर घूमने आ गई और वो मुझे देखकर मेरी तरफ थोड़ा मुस्कुराकर वो भी अब टहलने लगी थी. उस पार्क में दो हिस्से है, एक जो कि बहुत बड़ा है और दूसरा उससे थोड़ा छोटा हिस्सा है, लेकिन उसमें बहुत ही कम लोग होते है, क्योंकि वहां पर लाईट बहुत ही कम होती है.
में हमेशा ज्यादातर समय उस पार्क के छोटे वाले हिस्से में ही रहता था ताकि वहां से में सबको देख सकूँ कि कौन से लड़के क्या कर रहे है? और मुझे वो कोई देख ना सके कि में उन पर नजर रख रहा हूँ. फिर मैंने उस दिन कुछ देर टहलने तक भाभी को चेक किया कि वो लड़को को थोड़ा दूर से ऊपर से नीचे तक देख रही थी और पास आते ही वो तुरंत अपनी आंखे नीचे कर लेती. में उस दिन समझ गया कि वो सब क्या चाहती है? और अब में बिना डरे उन्हे अपना रंग दिखाने वहां पर चला गया. में अब बड़े हिस्से में आ गया और भाभी के पास पहुंचते ही उनसे पहले मैंने उनकी तरफ मुस्कुरा दिया. फिर वो भी चलते चलते मेरी तरफ मुस्कुराने लगी और फिर हम एक दूसरे के बिल्कुल पास से निकल गए.
फिर दूसरे चक्कर में तो हम एक दूसरे के सामने आ गए. फिर मैंने उनकी तरफ मुस्कुराने के साथ साथ उनसे हैल्लो किया और फिर उन्होंने भी अपना सर हिलाते हुए मुझसे हैल्लो कहा और अब तीसरे चक्कर में मैंने उनसे अपनी स्पीड को थोड़ा धीरे करते हुए चलते चलते उनसे पूछा कि कैसे हो आप? अब उन्होंने भी अपनी स्पीड को थोड़ा धीरे करते हुए कहा कि में बिल्कुल ठीक हूँ और आप कैसे है? और चोथे चक्कर में मैंने उन्हे मुस्कुराते हुए जवाब दे दिया कि आपको देखने के बाद में थोड़ा ठीक नहीं रहता.
फिर पांचवे चक्कर में उन्होंने मुझे एक प्यार भरी स्माईल देकर मुझसे धन्यवाद बोला और अब आखरी चक्कर में मैंने उन्हे कहा कि चलो अब हम उस छोटे वाले हिस्से में टहलते है और में उनसे यह बात कहकर दूसरे हिस्से छोटे वाले हिस्से में चला गया, लेकिन मुझे छोटे हिस्से में देखकर भाभी वहां पर नहीं आई. में उन्हे देख रहा था और वो अब भी मुझे देखकर अपनी आंखे नीचे करके बड़े हिस्से में ही टहल रही थी. दोस्तों उस समय में अपने आपको मन ही मन बहुत गालियाँ दे रहा था कि साले भाभी है कोई लड़का नहीं, जो इतनी जल्दी छोटे हिस्से में बुलाकर तूने अपने कदम बड़ा लिए, वहां पर अच्छी ख़ासी हंसकर मुस्कुराकर बात हो रही थी, थोड़ा धीरे धीरे आगे बढ़ता और अब सब खत्म करके यहीं पर अकेले रहे. तभी इतने में ही मैंने देखा कि भाभी दूसरी साईड से छोटे वाले हिस्से में आ गई.
फिर मैंने सोचा कि शायद भाभी ने मेरे मन की बात को सुन लिया है, इसलिए वो यहाँ पर आई है और तब जाकर मेरी जान में जान आई और जैसे ही भाभी मेरे पास आई तो मैंने थोड़ा डरते डरते उनसे एक बार फिर से बात शुरू करने की सोची और पूछा आपने आने में इतनी देर क्यों लगा दी? वो इतनी बात सुनकर आगे बढ़ने लगी और अब भाभी ने मेरे पास में आते हुए मुझे जवाब दिया. अगर हम दोनों एक साथ इस हिस्से में आ जाते तो लोगों को हम पर शक हो जाता, इसलिए में थोड़ा लेट आई हूँ. दोस्तों तब मुझे समझ में आया कि भाभी इस मामले में बहुत समझदार भी है और ऐसे ही चक्कर लगाते लगाते हमारी बहुत सारी बातें हुई और मेरा उनसे बहुत हंसी मजाक भी हुआ.
फिर कुछ दिन तक ऐसे ही बात करते करते मैंने उनसे अपना मोबाईल नंबर ले लिया और अपना नंबर उन्हें दे दिया और अब हमारी मैसेज से चेटिंग भी होने लगी और फिर हम दोनों बहुत जल्दी एक बहुत अच्छे दोस्त भी बन गये थे और अब हम एक दूसरे को गंदे मैसेज भी करने लगे. दोस्तों भाभी मेरे गंदे मैसेज पर बहुत खुश होकर जवाब करती थी और फिर हमारी बहुत बार खुलकर बात भी होने लगी. अब मैंने बहुत रात होने पर कहा कि क्यों कल रात मज़े किये? भाभी भी जवाब दे देती थी और सब इस तरह चलता रहा.
फिर कुछ दिन बाद भाभी ने मुझे छोटा सा एक काम बोला कि उनकी बेटी का कल टेस्ट है और वो उसके लिए पेन्सिल लाना भूल गई है तो क्या तुम ला दोगे? क्योंकि उनके पति रात को उन्हे बाहर नहीं जाने देते थे और उनकी बेटी पांच साल की थी तो इसलिए वो भी नहीं जा सकती थी. फिर मैंने एक पेन्सिल का बॉक्स लाकर अपनी बालकनी से उनकी बालकनी में फेंक दिया और फिर उन्होंने उठाकर मुझसे धन्यवाद बोला, इस तरह कोई भी छोटे मोटे काम जब भी होते तो भाभी मुझसे बोल देती और में भविष्य में उनसे वसूल करने की बात सोचकर खुश हो जाता था.
फिर भाभी ने एक दिन मुझसे कहा कि तुम मेरी बहुत मदद किया करते हो, लेकिन कभी भी मुझसे पैसे नहीं लेते हो, मुझे यह सब बिल्कुल भी अच्छा नहीं लगता. फिर मैंने तुरंत शरारती हंसी हंसते हुए उनसे कहा कि में आपसे पैसे नहीं कुछ और चाहता हूँ और फिर उन्होंने हैरान होते हुए मुझसे पूछा कि तुम मुझसे ऐसा क्या चाहते हो? फिर मैंने नाटक करते हुए कहा कि आप मुझे देने से साफ मना कर दोगे ( दोस्तों में उन्हें उलझाने के लिए गोल मोल बातें कर रहा था) और फिर भाभी भी मेरा कहने का मतलब समझ रही थी कि मेरा इशारा किस तरफ है? अब भी भाभी मुझसे जानबूझकर पूछ रही थी कि बताओ ना क्या चाहते हो तुम? और आखिरकार मैंने उन्हे कहा कि आप बालकनी में रूम में आ जाओ और में भी वहां पर आ जाता हूँ.
हम दोनों वहां रूम में आ गए और फिर मैंने उन्हे कॉल किया तो वो बोली कि हाँ अब बताओ तुमने मुझे यहाँ पर क्यों बुलाया और तुम मुझे क्या चाहते हो? फिर मैंने कहा कि बस में आपसे यही चाहता हूँ, अब वो बोली कि क्या? में तुम्हारा कहने का मतलब बिल्कुल भी नहीं समझी? फिर मैंने कहा कि बस आप इस तरह मेरे सामने आ जाना, जब भी में चाहू तो भाभी ने मुझे एक सेक्सी सी स्माईल देकर कहा कि तुम जब भी चाहो मुझे बुला लेना, में चली आउंगी.
फिर एक दिन भाभी ने दबंग 2 फिल्म देखी और अब उन्होंने मुझसे कहा कि मुझे सलमान की बॉडी बहुत अच्छी लगती है. फिर मैंने उनसे कहा कि मुझे भी सल्लू मियाँ बोलते है तो उन्होंने कहा कि ऐसा क्यों लेकिन तुम्हारी बॉडी तो वैसे नहीं है? मैंने कहा कि आपने कभी देखी नहीं इसलिए आप मुझसे ऐसा कह रहे हो. तभी भाभी बोली कि आओ चलो अभी दिखाओ. फिर में उनके मुहं से यह बात सुनकर एकदम से चकित रह गया कि आज भाभी मुझसे यह क्या कह रही है?
फिर उन्होंने मुझसे कहा कि तुम अपने रूम में आ जाओ. जब में पहली मंजिल पर अपने रूम में गया तो मैंने देखा कि सामने वाली मंजिल पर ही भाभी भी अपने रूम में आ गई और फिर वो मुझसे कहती है कि तुम अब अपना रूम बंद करो तो मैंने रूम बंद किया और उधर भाभी ने भी (भाभी और मेरा रूम आमने सामने है तो हमारे रूम में बस हम दोनों ही देख सकते है, आस पास वाले घर नहीं और बालकनी के दरवाजे भी हमने थोड़े से बंद ही रखे थे कि बस हम एक दूसरे को ही देख सके) अब भाभी बोली कि दिखाओ मुझे अपनी बॉडी, मैंने शरमाते हुए अपनी शर्ट को उतार दिया और उन्हे अपनी छाती दिखाने लगा. वो फोन पर यह सब देखते करते हुये हंस रही थी और फिर मैंने उनसे कहा कि क्यों अब आप भी मुझे अपना शरीर दिखाओ ना?
फिर उन्होंने भी तुरंत अपने हाथ फ्री करके मुझे अपने डोले दिखाए और अब हम हंसने लग गये, लेकिन तभी उन्हे हंसता हुआ देखकर पता नहीं मुझे क्या हुआ? और मैंने उन्हे बोल दिया कि भाभी आप मुझे बहुत सुंदर लगते हो और मेरी आवाज़ सुनकर भाभी भी मुझे देखती रह गई और में भी. फिर वो वहां से चली गई और शाम को जब वो मुझे बालकनी में दिखी, लेकिन वो जल्दबाजी के साथ मुझे स्माईल देकर अंदर चली गई और उसी रात को भाभी का करीब दस बजे मेरे पास एक मैसेज आया और में उसे देखकर एकदम चकित रह गया और में मन ही मन सोचने लगा कि आज इतनी रात को उनका मेरे पास मैसेज कैसे आ गया?
फिर भाभी ने मुझे बताया कि उनके पति इस समय ऑफिस की एक पार्टी में गये हुए है और वो रात को देर से आएँगे और अब उनकी बेटी सो गई है. फिर मैंने उस टाईम भाभी को बालकनी वाले रूम में बुलाया और उन्होंने पूछा क्या हुआ? लेकिन मेरे बुलाने पर वो आ गई और फिर जैसे ही वो आई तो मैंने अपनी टी-शर्ट को उतार दिया. भाभी मेरी तरफ देख रही थी और मेरी टी-शर्ट के नीचे कुछ नहीं था और फिर मैंने अपना लोवर नीचे उतारा और अब में सिर्फ़ अंडरवियर में था और भाभी मुझे लगातार देखती रही थी और फिर कुछ देर बाद वो उठकर वहां से जाने लगी, लेकिन जाते जाते वो मेरी तरफ मुड़कर जरुर देख रही थी. मैंने उन्हे फोन पर पूछा कि क्या हुआ? आप इस तरह उठकर क्यों जा रही हो? वो बोली कि नहीं कुछ नहीं बस ऐसे ही. फिर मैंने उन्हे याद दिलाया कि मैंने उनसे कुछ माँगा था कि जब में आपसे कहूँ आप मेरे सामने आओगी और आपने भी उसके लिए मुझसे हाँ कहा था.
अब मेरे मुहं से यह बात सुनकर भाभी को मैंने वापस बुलाया और में उनके सामने अंडरवियर में खड़ा हुआ उन्हे देखता रहा और भाभी भी देखती रही और अब उनके बड़े बड़े बूब्स देखकर मेरा लंड थोड़ा थोड़ा बड़ा होने लगा और में उस पर हाथ लगाकर अंडरवियर को घिसने लगा. भाभी यह सब देखकर अपनी आखें बंद करके वहीं पर खड़ी रही और धीरे से देखती रही और फिर आंख बंद कर लेती. वो अब हॉट हो रही थी और फिर उन्होंने मुझे फोन पर कहा कि बस करो, मुझे हॉट मत करो.
फिर मैंने कहा कि क्या हुआ, होता है तो होने दो, गरम होने से तो आपकी रात और भी अच्छी कटेगी तो वो मेरी यह बात सुनकर हंस पड़ी और बोली कि मेरी रात तो मेरे पति के साथ कट जाएगी, लेकिन तुम्हारे क्या होगा? तुम यह बात भी तो सोचो. अब मैंने भी तुरंत हंसते हुए उनसे कहा कि मेरी रात आपको अपने साथ लेते हुए सोचते करते हुई गुज़र जाएगी और फिर मेरे मुहं से यह सुनकर भाभी की आखें फटी की फटी रह गई, क्योंकि में उनके सामने इसी स्थिती में था और जिसको देखकर वो बहुत चकित हो गई थी और में मन ही मन बहुत खुश था, क्योंकि आज वो अपनी जगह से थोड़ा भी नहीं हिली थी और वो एक जगह पर जमकर खड़ी हुई थी.

अनु आंटी के साथ छत पर सेक्स

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बेशर्म डॉक्टर के साथ क्लिनिक में मजा


हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम आदित्य है और में 23 साल का हूँ. मैंने इस साईट पर बहुत सी स्टोरी पढ़ी तो मैंने सोचा कि मुझे भी अपनी लाईफ का अनुभव लिखना चाहिए. में यहाँ अपनी पहली स्टोरी लिख रहा हूँ तो पहले में आपको अपने बारे में बता दूँ. में हरियाणा की एक अमीर फेमिली से हूँ तो मेरे पापा ने मुझे पढ़ने के लिए दिल्ली भेजा और दिल्ली से 12वीं पास करके मैंने दिल्ली यूनिवर्सिटी में ही एडमिशन ले लिया और बाद में कॉम्पीटिशन एग्जॉम की तैयारी करने लगा. में इनकम टैक्स डिपार्टमेंट में जॉब कर रहा हूँ और अभी मेरी शादी नहीं हुई है तो में दिल्ली में अकेला रहता हूँ.
ये बात 2007 की है, जब मैंने 12वीं पास करके कॉलेज में जाना शुरू किया था, तब में किराये के फ्लेट में अकेला रहता था. उस टाईम तक मैंने किसी के साथ सेक्स नहीं किया था, मेरा मन सेक्स करने का तो बहुत करता था, लेकिन में थोड़ा शर्मीले स्वभाव का हूँ तो में कोई लड़की नहीं पटा सका तो अब बस में सिर्फ मुठ मारकर ही काम चलाता था. गर्मियों के दिन थे और मेरे लंड के आस पास के बाल बड़े हो गये थे, वैसे तो में अपने नीचे के बाल क्रीम से ही हटाता हूँ, लेकिन उस दिन मेरे पास क्रीम नहीं थी तो मैंने ब्लेड से ही बाल काटने की सोची.
मुझे बाथरूम में गर्मी लग रही थी तो में जल्दी- जल्दी बाल काट रहा था तो अचानक ब्लेड से मेरे लंड के पास कट लग गया और उसमें से खून आने लगा. फिर मैंने बाहर आकर क्रीम लगाई तो थोड़ी देर में खून आना कम हो गया. फिर मैंने सोचा कि कट ज्यादा लगा है तो टिटनेस का इंजेक्शन लगवा लेना चाहिए. मेरे फ्लेट से थोड़ी ही दूरी पर 2-3 छोटे क्लिनिक है. फिर में जल्दी से नहाकर इंजेक्शन लगवाने चला गया. में क्लिनिक के अंदर गया तो वहाँ 3-4 मरीज ही बैठे थे और रिसेप्शन पर एक मोटी सी लड़की बैठी थी.
फिर मैंने उससे कहा कि मेम मुझे टिटनेस का इंजेक्शन लगवाना है तो उसने पूछा क्या हो गया? फिर मैंने कहा कि कुछ खास नहीं बस ब्लेड से कट लग गया था और फिर उसने ज्यादा नहीं पूछा. फिर उसने मेरा नाम रजिस्टर में लिखा और इंतजार करने को बोला. मेरा डॉक्टर को दिखाने के लिए 4 नंबर पर नाम था, मरीज भी कम थे तो डॉक्टर भी सब को आराम-आराम से देख रहा था. फिर 20-25 मिनट के बाद मेरा नम्बर आया. फिर जब में डॉक्टर के कैबिन में अन्दर गया तो मैंने देखा कि वहाँ तो एक लेडी डॉक्टर बैठी थी, मुझे उसकी उम्र 35-40 साल के करीब लगी, वो ज्यादा तो सुंदर नहीं थी, लेकिन नॉर्मल थी और उसके फिगर का साईज़ 36 या 38 होगा.
फिर मैंने डॉक्टर से कहा कि मेम मुझे टिटनेस का इंजेक्शन लगवाना है, मुझे ब्लेड से कट लग गया था. फिर डॉक्टर ने पूछा कि कट हाथ में लगा है क्या? तो मुझे शर्म आने लगी. फिर मैंने गर्दन हिलाकर ना कहा. तब उन्होंने फिर पूछा तो कहाँ लगा है? फिर में थोड़ी देर तक कुछ नहीं बोला, तब डॉक्टर ने कहा कि बताओ ना. फिर मैंने धीरे से कहा कि जी वो नीचे लगा है तो डॉक्टर को थोड़ी हंसी आई और कहा कि देखो शरमाओ नहीं में तो एक डॉक्टर हूँ और डॉक्टर से क्या शर्माना? अब सही से बताओ.
फिर मैंने कहा कि जी वो में नीचे के बाल साफ कर रहा था, तब मेरे उसके पास थोड़ा कट लग गया तो डॉक्टर के चेहरे पर फिर से एक अजीब सी स्माईल थी और मुझे तो वो साली चालू टाईप की लग रही थी. तभी उसने कहा कि पास वाले बेड पर लेटो (जिस पर लेटाकर डॉक्टर इंजेक्शन लगाते है) और मुझे दिखाओं कहीं जख्म ज्यादा गहरा तो नहीं है और ब्लडिंग पूरी तरह से रुकी है या नहीं और उसने खुद कुर्सी से उठकर दरवाजा जो बंद था, वो भी लॉक कर दिया और पर्दा लगा दिया.
फिर उसने मुझे बेड पर लेटाया और कट देखने को बोला, मुझे शर्म आ रही थी तो में ना नुकर करने लगा. फिर डॉक्टर ने कहा कि तुम तो लड़कियों की तरह शरमा रहे हो, ये बात मुझे चुभ गयी और मैंने लेटे-लेटे अपना पजामा और अंडरवियर थोड़ा सा नीचे कर दिया. फिर डॉक्टर ने मेरा पजामा पकड़कर और नीचे कर दिया और वो कमीनी मुस्कुराने लगी. मेरा तो शर्म से मुँह लाल हो गया था तो मैंने अपनी आँखे बंद कर ली और चुपचाप लेटा रहा. फिर डॉक्टर ने अपने हाथों में बिना कुछ पहने ऐसे ही मेरा लंड पकड़ा और उसे थोड़ा साईड में करके कट को देखने लगी, उसने अपने एक हाथ से मेरे लंड को पकड़ रखा था और दूसरे हाथ की उंगली कट पर लगा रखी थी, जिस हाथ से उसने मेरे लंड को पकड़ा था, वो कमीनी उस हाथ से अजीब-अजीब हरकत कर रही थी.
मुझे तो बहुत हैरानी हो रही थी कि देखो साली कितनी बेशर्म औरत है? वो मेरे लंड को अपने हाथ से कभी टाईट पकड़ती तो कभी पूरी मुठी में ले लेती तो कभी मेरे लंड पर अपनी उंगलियां फेरती. इससे मेरी हालत ख़राब होने लगी थी, मतलब मेरा लंड खड़ा होने लगा था. फिर मैंने अपनी आँखे खोलकर देखा तो वो साली धीरे-धीरे मुस्कुरा रही थी. फिर उसने मुझसे कहा कि काफ़ी बड़ा है तो मैंने शरमाते हुए धीरे से पूछा जी क्या? फिर उसने कहा कि अरे तुम्हार कट और क्या? और जिस हाथ में मेरा लंड था, उसकी मुठी थोड़ी भींच दी. वो मेरे लंड पर अपने हाथ से कुछ हरकते कर रही थी. फिर उसने थोड़ा हँसते हुए पूछा कि ये कट कैसे लगा? फिर मैंने कहा कि जी वो में ब्लेड से अपने बाल काट रहा था तो जल्दी-जल्दी में लग गया.
फिर उसने एकदम से पूछा कि अच्छा बाल काटकर अपनी गर्लफ्रेंड से मिलने जा रहे थे क्या? फिर मैंने कहा कि नहीं मेम मेरी कोई गर्लफ्रेंड नहीं है. फिर वो बोली क्यों? तुम तो अच्छे स्मार्ट हो, बॉडी भी मस्त है और ये भी. (फिर उसने अपनी मुट्ठी में मेरा लंड थोड़ा दबा दिया, जो कि अब तक पूरा खड़ा हो चुका था) फिर स्माईल के साथ पूछा तो तुम्हारे कोई गर्लफ्रेंड क्यों नहीं है? मुझसे झूट मत बोलो, ये बाल किसी गर्लफ्रेंड के लिए ही साफ किए होगें. फिर मैंने कहा कि नहीं मेम में सच कह रहा हूँ, मेरे कोई गर्लफ्रेंड नहीं है, वो तो मुझे बड़े बाल अच्छे नहीं लगते इसलिए काट लिए थे.
फिर उसने किसी दवाई से मेरे कट को थोड़ा साफ किया और उसके बाद कोई दवाई लगाई. अब दवाई लगाते टाईम भी उसने एक हाथ से मेरा खड़ा लंड ही पकड़ रखा था. अब ये तो कोई बेवकूफ़ भी समझ जाता कि ये औरत किस टाईप की है? और क्या चाहती है? मेरी लाईफ में पहली बार किसी ने मेरे लंड पर हाथ लगाया था और साथ ही वो मेरे लंड के साथ अजीब-अजीब हरकत कर रही थी.
अब मुझे लगा कि में तो इसके हाथ में ही झड़ जाऊंगा और मेरी भी उस पर नियत ख़राब होने लगी थी. फिर उसने मेरा लंड थोड़ा ऊपर नीचे किया और मेरे से इधर उधर की बातें करने लगी. फिर उसने मेरा नाम पूछा और पूछा कि तुम क्या करते हो? कहाँ के हो? किस कॉलेज में पढ़ते हो? तुम्हें किस तरह की लड़कियां पसंद है? फिर जब में जवाब देता तो उससे डॉक्टर साहब या मेम कहता. फिर उसने कहा कि मेरा नाम पूनम गुप्ता है और तुम मुझे पूनम कह सकते हो, ये मेम-मेम क्या लगा रखा है? फिर उसने पूछा कि सेक्स के बारे में क्या सोचते हो? फिर मैंने कहा कि में समझा नहीं. फिर उसने कहा कि तुम्हारा मन नहीं करता ये सब करने का तो मैंने कहा बहुत करता है.
फिर उसने पूछा तो कैसे काम चलाते हो? फिर मैंने कहा कि बस हाथ से ही कर लेता हूँ तो वो ये सुनकर हंसने लगी और बोली कुछ कामों को खुद अपने हाथ में लेकर करने में उतना मज़ा नहीं आता है, जितना किसी और के हाथ से करवाने में आता है, इस बात पर मुझे भी हंसी आ गयी.
अब मुझे लगा कि जब अगली इतनी बेशर्म है तो मुझे शर्मीला बनने की क्या ज़रूरत है? अब में भी थोड़ा फ्रेंक हो गया. मेरा लंड उसके हाथ में था तो सेक्स भी सर चढ़कर बोल रहा था. फिर मैंने कहा कि पूनम जी आज तक मुझे किसी दूसरे का हाथ मिला ही नहीं है तो बताओं में क्या करता? अब वो हँसते हुए बोली कि हाथ तो बहुत है बस मांगने वाला होना चाहिए, इतना सुनकर मुझे भी हंसी आ गयी और मैंने उसका लेफ्ट हाथ जो फ्री था, उसे पकड़कर अपने ऊपर खींच लिया. वो भी बिना कोई विरोध किए मेरी तरफ़ आ गयी. फिर मैंने उसे ठीक से पकड़कर अपने ऊपर खींच लिया. उसका चेहरा मेरे चेहरे के पास था तो उसने अपने दोनों हाथों से मेरे गालों को पकड़ा और अपने लिप मेरे लिप पर रख दिए, मुझे तो बस मजा ही आ गया था.
फिर थोड़ी देर में उसने अपनी जीभ मेरे मुँह में डाल दी, क्या मस्त किस कर रही थी साली? फिर मैंने सोचा कि बेटा इसी का नाम अनुभव होता है. फिर उसने मेरे गालों पर किस किया, वो बेड छोटा था और उसकी टाँगे अभी भी नीचे ही थी तो अब में भी खड़ा ही हो गया और उसने मुझे दीवार से चिपका दिया और बोली कि सालो तुम हरियाणा वालों का हथियार भी कितना बड़ा और मोटा होता है ना. फिर मुझे हंसी आई और वो भी हंसने लगी. फिर वो मुझे किस करने लगी. मैंने अपने हाथ उसकी पीठ पर फेरने शुरू कर दिए. फिर थोड़ी देर में मेरे हाथ उसके कूल्हों पर नीचे चले गये. क्या मुलायम- मुलायम कूल्हें थे साली के? फिर में उसके मोटे-मोटे कूल्हों को बुरी तरह से दबा रहा था.
फिर मैंने अपने हाथ ऊपर लाने शुरू किए और मेरे हाथ उसके बूब्स पर आ गये और सोचा कि भगवान ने भी बूब्स क्या मस्त चीज़ बनाई है? तभी तो ये लड़कियां इनको इतना बाहर निकाल-निकालकर चलती है साली. फिर उसने अपना एक हाथ आगे करके मेरा लंड पकड़ लिया और उसे हिलाने लगी, अब मेरी तो बुरी हालत थी. फिर उसने मेरा लंड हिलाते-हिलाते जब उसका हाथ एकदम से मेरे कट पर लगा तो मुझे बहुत दर्द हुआ और मैंने एकदम से आहह बोला. तब उसे भी थोड़ा होश आया. फिर उसने मुझसे सॉरी कहा और वो बोली कि हमें अन्दर ज्यादा टाईम हो गया है बाहर और भी मरीज आ गये होगें.
फिर उसने धीरे से थोड़ा सा पर्दा हटाकर देखा तो बाहर 2 औरतें बैठी थी तो उसने कहा कि आज के लिए इतना ही काफ़ी है और अपना विज़िटिंग कार्ड देते हुए बोली कि ये मेरा नंबर है और शाम को इस नम्बर पर फोन करना और अब तुम जाओ. अब मेरा तो दिल ही टूट गया, हमारे हरियाणा में कहते है कि खड़े लंड पर किसी ने लाठी मार दी हो, ऐसा ही मुझे महसूस हुआ. में उससे फिर चिपक गया और कहा कि नहीं थोड़ा और थोड़ा और कहा कि बस 2 मिनट और 2 मिनट और फिर वो हंसने लगी और बोली कि तो तुम ऐसे नहीं मानोगे.
फिर उसने मुझे सीधा खड़ा किया और खुद घुटनों पर बैठ गयी और अब मेरा लंड उसके चेहरे के पास था. अब में समझ गया कि ये रंडी क्या करने वाली है? फिर उसने प्यार से अपनी जीभ मेरे सुपाड़े पर लगाई तो मेरी तो जान ही निकलने लग गयी. फिर उसने आराम-आराम से अपनी जीभ आगे-आगे घुमाई, अब उसका एक हाथ मेरे अंडो से खेल रहा था तो में जन्नत की सैर कर रहा था, मुझे सच में लग रहा था कि कुछ काम किसी और के हाथ से करवाने में कुछ ज्यादा ही मज़ा है. फिर उसने धीरे-धीरे से मेरा आधा लंड अपने मुँह में ले लिया, अब तो में पागल ही हो गया था. फिर मैंने अपने दोनों हाथों से उसके सर को जोर से पकड़ लिया था और धीरे-धीरे उसके मुँह में झटके लगाने शुरू कर दिए.
अब मुझे लग रहा था कि में बस झड़ने वाला हूँ और वो वैसे ही प्यार से मेरे लंड को लॉलीपोप की तरह चूस रही थी. तभी मेरी बॉडी अकड़ने लगी और में अपना लंड उसके मुँह में अंदर धकेलने लगा, लेकिन उसने अपने हाथ से मेरे लंड को रोक रखा था और आधे से ज्यादा अंदर नहीं जाने दिया. फिर तभी में झड़ने लगा और मुझे लगा कि मेरा इतना वीर्य आज तक कभी भी नहीं निकला होगा. अब में बहुत देर तक उसके मुँह में झड़ता रहा और वो रंडी मेरा सारा माल पी गयी. फिर मेरे लंड में गुदगुदी सी होने लगी और मैंने अपना लंड उसके मुँह से बाहर निकाल लिया. फिर वो भी खड़ी हुई और स्माईल के साथ बोली कि अब मिली कुछ शांति. फिर मैंने धीरे से कहा डार्लिंग बस मज़ा ही आ गया. फिर वो बोली कि ये तो सिर्फ ट्रेलर था, फिल्म तो अभी देखनी बाकी है.
फिर उसने कहा कि बहुत ज्यादा टाईम लग गया है, अब तुम जाओ और मेरे पास शाम को कॉल करो. फिर में आगे का प्लान बताती हूँ. अब टाईम ज्यादा हो गया है तो तुम्हारा इंजेक्शन भी कल ही लगाउंगी. फिर उसने मेरे गाल पर हल्का सा किस किया और बाय बोला. फिर मैंने उसे अपनी तरफ़ खींचकर हग किया और फिर धीरे से बिना आवाज़ किए दरवाजे का लॉक खोला और बाहर आ गया, बाहर मरीज बैठे थे तो में चुपचाप नीचे देखता हुआ क्लिनिक से बाहर आ गया.

भाभी को चोदकर बहुत आराम दिया


हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम राज है और में दिल्ली का रहने वाला हूँ. मैंने इसकी कहानियों को पढ़कर बहुत मज़े करता हूँ. दोस्तों में आज आप सभी के सामने वैसी ही जोश भरी कहानी सुनाने वाला हूँ और यह मेरी पहली कहानी है और में उम्मीद करता हूँ कि यह आप सभी को जरुर पसंद आयेगी और प्लीज आप सभी मुझे मैल जरुर करें.
दोस्तों यह कहानी है मेरी और मेरे पड़ोस में रहने वाली एक भाभी जी की. मेरी उम्र 26 साल है और मेरा लंड 7 इंच लंबा और 4 इंच मोटा है और मेरी भाभी जी की उम्र 32 साल और उनके फिगर का साईज करीब 36-28-38 है. वो दिखने में एकदम हॉट, सेक्सी लगती है और उनके गदराए हुए बदन की वो बनावट, सेक्सी आखें, गोल चेहरा, बड़े बड़े पहाड़ जैसे बूब्स और उससे भी बड़ी उनकी वो गांड जिसको देखकर हर किसी का लंड पानी छोड़ दे और उसे अपनी तरफ आकर्षित करती है. उनके वो झूलते हुए बूब्स मटकती हुई गांड मुझे बहुत सेक्सी लगती थी. में पहले उनके बारे में ऐसा कुछ नहीं सोचता था, लेकिन उस घटना के बाद मैंने कभी भी उनके बारे में वैसा नहीं सोचा जैसा मुझे सोचना चाहिए. में अब हमेशा उनको हवस भरी नजरों से देखने लगा था और हमेशा उन्हें चोदने के सपने देखता और अब सीधा अपनी आज की उस घटना को बताता हूँ, जिसके बाद मेरे दिन बदल गए.
दोस्तों मेरा और मेरे परिवार का भाभी के घर पर हमेशा आना जाना लगा रहता है और सबसे ज्यादा तो में ही उनके घर पर आता जाता हूँ, क्योंकि उनके घर के और बाहर के छोटे मोटे काम में खुद किया करता हूँ. एक दिन की बात है, उस दिन उनके घर पर कोई नहीं था तो में जब भाभी के घर पर आया तो वो मुझसे बोली कि राज मेरे सर में बहुत दर्द है और इस समय घर पर कोई नहीं है तो क्या तुम मेरे लिए बाहर बाजार से दवाई ले आओगे? तो मैंने हाँ कहा और में जल्दी से उनके लिए दवाई ले आया और उन्हें दे दी.
फिर उन्होंने मुझसे धन्यवाद कहा और फिर वो मुझसे बोली कि क्या राज मेरे सर में बहुत दर्द है तो क्या तुम मेरा सर दबा दोगे? तो मैंने हाँ कहा और अब में उनका सर दबाने लगा तो थोड़ी ही देर बाद उनका सर दर्द बिल्कुल ठीक हो गया और फिर वो मुझसे कहने लगी कि वाह राज तेरे हाथ में तो कोई जादू है, मेरा दर्द तो एकदम सही हो गया और फिर उन्होंने कहा कि तू यहीं पर बैठ और में तेरे लिए चाय बनाकर लाती हूँ. फिर मैंने उनसे कहा कि नहीं भाभी मुझे अभी घर पर जाना है, में फिर कभी चाय पीने आ जाऊंगा.
फिर वो बोली कि तुम चुपचाप यहाँ पर बैठ जाओ, थोड़ी देर में ऐसा कुछ नहीं होगा, तुम्हे घरवालों का डर है तो में उनसे बात कर लूंगी और कोई भी तुमसे कुछ भी नहीं कहेगा और फिर में वहीं पर बैठ गया, लेकिन जैसे ही वो बेड से नीचे उतरी तो वो एकदम से पैर मुड़ने की वजह से नीचे गिरने लगी तो मैंने उन्हे गिरने से पहले उन्हे पकड़कर संभाल लिया और अब मेरा एक हाथ उनकी कमर पर और दूसरा हाथ उनके कूल्हों पर था और फिर वो बोली कि एक बार फिर से तुम्हे धन्यवाद, अगर अभी तुम नहीं होते तो ना जाने क्या होता और वो अभी तक मेरी बाहों में थी.
फिर मैंने उनसे बोला कि कोई बात नहीं भाभी, यह तो मेरा फ़र्ज़ था, लेकिन अब खिंचाव की वजह से उनकी कमर में भी थोड़ा थोड़ा दर्द होने लगा था और फिर वो मुझसे बोली कि राज मेरी कमर में दर्द हो रहा है, शायद मुझे ऐसा लगता है कि मेरी कमर में झटका आ गया है अह्ह्ह्हह उह्ह्ह्ह माँ मुझे अब तो और भी ज्यादा दर्द हो रहा है उह्ह्ह्ह में अब क्या करूं? में उनसे बोला कि हाँ हो सकता है थोड़ा ज़ोर का झटका आपकी कमर में दर्द कर रहा है, लेकिन अगर आप कहे तो में आपकी कमर को दबा देता हूँ, उसकी मालिश कर देता हूँ, जिससे शायद आपका दर्द खत्म हो जाएगा?
फिर वो झट से मुस्कुराकर बोली कि तुम कितने अच्छे हो हमेशा मेरा बहुत ध्यान रखते हो, अब जल्दी से मेरी कमर का दर्द भी खत्म कर दो. फिर में उनकी कमर को उनके गाऊन के ऊपर से ही धीरे धीरे दबाने लगा और तभी वो बोली कि उधर एक तेल रखा हुआ है, तुम वो लेकर उसकी मेरी कमर पर मालिश कर दो तो मुझे थोड़ा आराम मिल जाएगा. फिर में उठकर वो तेल लेकर आया तो मैंने उनसे कहा कि लेकिन आपने तो यह गाऊन पहन रखा है तो वो बोली कि कोई बात नहीं है, तुम इसे थोड़ा ऊपर उठाकर तेल लगाकर मालिश कर दो.
फिर में बोला कि लेकिन और फिर वो बोली कि लेकिन वेकीन छोड़ो और अब तुम जल्दी से लगा दो, मुझे बहुत दर्द हो रहा है और अब जैसे ही मैंने उनके गाउन को ऊपर किया तो में क्या बताऊ दोस्तों भाभी की चिकनी जांघे और फिर उनके वो इतने चिकने पैर थे कि मेरा मन पलट गया और मैंने आज से पहले कभी भी उनके बारे में ऐसा कुछ नहीं सोचा था, जो में अब मन ही मन सोच रहा था और फिर मेरा लंड मेरी पेंट में पूरा तनकर खड़ा हो गया. अब भाभी ने उसे पेंट में खड़ा हुआ देख लिया और फिर वो मुझसे बोली कि तेरी पेंट खराब हो जाएगी, तू इसे अपनी पेंट से बाहर निकाल कर मालिश कर दे.
फिर मैंने कहा कि लेकिन आपके सामने कैसे में ऐसा कैसे कर सकता हूँ? तो वो बोली कि में हूँ तो हूँ और यहाँ पर हमारे अलावा और कोई थोड़ी ना है. फिर मैंने कहा कि नहीं ऐसे मुझे शरम आती है तो वो बोली कि इसमें शरमाने की क्या बात है? चल अब जल्दी बाहर निकाल और फिर मैंने अपनी पेंट को उतार दिया और में अब उनके सामने अंडरवियर में आ गया, लेकिन मेरा लंड अभी भी खड़ा हुआ था और अब में उनकी कमर पर मालिश करने लगा तो उनकी कमर की वजह से मुझे उनका गाउन थोड़ा ऊपर करना पड़ा तो उसकी वजह से मुझे उनकी पेंटी अब साफ साफ दिख रही थी और मेरा लंड अब और भी सख्त हो रहा था तो वो बीच बीच में उनके जिस्म को मेरे लंड से छू रही थी और उन्होंने उसे देखा तो वो मुझसे हंसकर बोली कि वाह तेरा लंड तो बहुत बड़ा है.
दोस्तों में उनके मुहं से यह बात सुनकर एकदम से चकित हो गया और उन्होंने झट से उसे मेरे अंडरवियर से बाहर निकाल दिया और वो उसे किसी भूखी शेरनी की तरह देखने लगी और बोली कि यह तो जिसके भी अंदर जाएगा उसकी फाड़ देगा और फिर उसे अपने मुहं में भर लिया और ज़ोर ज़ोर से चूसने लगी. वो मेरे लंड को लोलीपॉप की तरह ज़ोर से लगातार चूसती रही.
फिर मैंने भी अब थोड़ी देर बाद उनके बूब्स को दबाना शूरू किया और फिर ऐसा करते करते हम दोनों ने एक दूसरे को पूरा नंगा कर दिया और उनके पूरे नंगे, चिकने बदन को देखकर में तो पूरी तरह से पागल हो गया और फिर हम 69 पोज़िशन में आकर एक दूसरे को चूसने लगे और फिर मैंने उनके बूब्स को लगातर जारी रखा. तभी वो जोश में आकर मुझसे बोली कि आज तू इसे खा जा और चूस ले इसका पूरा रस हाँ और ज़ोर ज़ोर से दबा. फिर में उनके मुहं से यह बात सुनकर तो और भी पागल हो गया और फिर मैंने उनके बूब्स को चूस चूसकर पूरे लाल कर दिए, अब वो पूरी पागल हो चुकी थी और बोली कि मेरे राजा प्लीज अब डाल दे इसे मेरे अंदर, मेरी चूत की प्यास बुझा दे प्लीज, मुझे अब और मत तरसा, में कब से तुझसे चुदने के लिए तड़प रही हूँ.
फिर मैंने उनके मुहं से यह बात सुनकर जोश में आकर अपने लंड को चूत के मुहं पर रखकर एक झटके में उसकी चूत के अंदर डाल दिया और फिर करीब दस मिनट तक पूरे जोश में धक्के देकर उसकी चूत चुदाई करता रहा. कुछ देर चीखने चिल्लाने के बाद वो भी अपने चूतड़ को उठाकर मेरा पूरा पूरा साथ दे रही थी और करीब तीस मिनट तक लगातार धक्के देकर चोदने के बाद मैंने अपना वीर्य उनके ऊपर निकाल दिया और फिर हम थोड़ी देर ऐसे ही लेटे रहे, लेकिन फिर मुझे घर भी जाना था और में जल्दी से घर पर जाने के लिए कपड़े पहनकर तैयार हो गया. फिर भाभी ने मुझे उनकी चुदाई के लिए मुझसे धन्यवाद कहा और में वहां से अपने घर पर चला गया. दोस्तों उसके बाद मैंने भाभी को बहुत बार चोदा और बहुत मज़े भी किए.

मुझसे चुदने आई पेपर के बहाने


हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम आकाश है और में मन में सोच रहा था कि कैसे स्टार्ट करूँ? फिर मैंने उससे पूछा कि तुम मुझे देखकर हमेशा स्माईल क्यों करती रहती हो, ये सुनते ही वो शर्माने लगी और बोली कुछ नहीं ऐसे ही. फिर मैंने उससे पूछा कि तुम्हारे कोई बॉयफ्रेंड है? तो उसने कहा कि नहीं है. फिर मैंने पूछा कि तुम्हें डर नहीं लग रहा क्या, यहाँ फ्लेट में मेरे साथ अकेली हो और कोई नहीं है. ये सुनते ही वो हंसने लगी और बोली डर कैसा? तुम विश्वास नहीं करोंगे कि में वैसे भी तुमसे ही मिलने आई थी. ये सुनते ही मुझे सिग्नल मिल गया और मैंने उसका हाथ पकड़कर अपनी और खींच लिया. फिर उसने दूर जाने की बहुत कोशिश तो की, लेकिन फिर वो भी मेरा साथ देने लगी, उसके लिप बहुत ही मुलायम और पिंक थे. उसे आज तक किसी ने किस नहीं किया था. फिर में जैसे ही किस करने के लिए उसके पास गया तो वो डर गई और उसने अपनी आखे बंद कर ली.
फिर जैसे ही मैंने उसके लिप पर टच किया तो उसकी सासें बहुत तेज़ हो गई. फिर मैंने उसके लिप को 5 मिनट तक चूसा. फिर उसने मुझे रोक दिया और कहा कि लिप में दर्द हो रहा है. फिर मैंने उससे कहा कि फर्स्ट टाईम किस में होता है तो वो मान गई और हम फिर से किस करने लगे. किस करते- करते में एक हाथ से उसके बूब्स भी दबा रहा था और मेरा हाथ रखते ही उसने झटके से मेरा हाथ हटा दिया, लेकिन वो किस करती रही, शायद वो अभी उसके लिए तैयार नहीं थी. फिर मैंने उसको गालों पर, गर्दन पर, पूरे चेहरे पर किस करना स्टार्ट किया तो वो गर्म होने लगी और उसके मुँह से धीरे-धीरे आवाज़े निकलने लगी. अब में समझ गया कि वो गर्म हो रही है. फिर मैंने उसके बूब्स पर टच किया, लेकिन इस बार उसने कुछ नहीं किया. ये देखकर मेरा हौसला और बढ़ गया और में उसके बूब्स दबाने लगा. उसके मुँह से आवाज़े निकल रही थी, आकाश धीरे- धीरे दबाओ बहुत दर्द हो रहा है प्लीज.
फिर मैंने अपनी शर्ट उतार दी. मैंने शर्ट के नीचे कुछ नहीं पहना था. फिर मैंने उसको टॉप उतारने को कहा तो वो मना करने लगी, लेकिन मेरे थोड़ा जोर देने पर वो मान गई और उसने अपना टॉप उतार दिया. उसने अन्दर पिंक कलर की मॉडर्न टाईप ब्रा पहनी थी और वो बहुत सेक्सी लग रही थी. फिर मैंने उसको बेड पर लेटाया और किस करने लगा. मैंने उसके चेहरे से किस करते हुए उसकी नाभि तक किस किया. वो पूरी तरह से गर्म हो चुकी थी और अब वो भी मेरा साथ दे रही थी. फिर मैंने उसका ट्राउज़र उतार दिया, उसने अन्दर पिंक कलर की पेंटी पहनी थी. फिर मैंने उसकी जांघो को किस किया और किस करते-करते उसकी ब्रा पेंटी दोनों उतार दी.
उसकी चूत क्लीन शेव थी, शायद उसने मॉर्निंग में ही शेव की थी, उसकी पिंक कलर की छोटी सी चूत देखकर मेरा लंड पूरी तरह से उत्तेजित हो गया था और वो शरमा कर अपनी चूत को पैरो के बीच में छुपाने की नाकाम कोशिश कर रही थी. फिर मैंने उसके पैरों को थोड़ा ओपन किया और उसके पैरो के बीच में आकर बैठ गया. फिर मैंने उसकी चूत के पास किस किया तो वो उत्तेजित हो गई और अब उसके मुँह से आवाज़े निकल रही थी. फिर मैंने उसकी चूत को किस किया और उसकी चूत पूरी गीली हो चुकी थी. शायद उसने एक बार पानी छोड़ दिया था और अब मेरा लंड भी अंडरवियर में पूरा तन गया था. फिर उसने देखा तो पूछा कि ये क्या है? फिर मैंने उसको बोला कि तुम खुद ही देख लो तो वो घबराते हुए मेरे पास आई और मेरा अंडरवियर उतारने लगी.
फिर जैसे ही मेरा 6 इंच का लंड बाहर आया तो वो देखकर एकदम से डर गई और उसके मुँह से यही निकला, उई माँ इतना बड़ा. शायद उसने पहले कभी इतना बड़ा लंड नहीं देखा था. फिर जब उसको पता चला कि इतना बड़ा लंड उसकी चूत में जाने वाला है तो वो बहुत ज़्यादा डर गई और आगे कुछ करने से मना करने लगी. फिर मैंने उससे कहा कि ठीक है अगर तुम नहीं चाहती हो तो हम सेक्स नहीं करेंगे, लेकिन बाकी तो कर सकते है ना. फिर उसको विश्वास हुआ तो उसने हाँ में अपना सर हिलाया. फिर मैंने धीरे से उसको बेड पर लेटाया और किस करना शुरू किया. किस करते-करते में उसकी चूत के पास पहुँच गया और उसकी चूत को चूसने लगा, जैसे ही मैंने चूसना शुरू किया तो वो एकदम से पागल हो गई और मेरा सर पकड़कर अपनी चूत में दबाने लगी.
फिर मैंने अपनी एक उंगली उसकी चूत में डालने की कोशिश की तो जैसे ही मैंने अपनी उंगली को उसकी चूत में डालना शुरू किया तो वो मना करने लगी और बोली कि प्लीज ऐसा मत करो, मुझे बहुत दर्द हो रहा है, प्लीज मान जाओ. सच दोस्तों उसकी चूत बहुत टाईट थी. फिर भी में उसकी चूत में एक उंगली डालकर अंदर बाहर करने लगा. फिर थोड़ी ही देर में उसको भी मज़ा आने लगा, 2 मिनट ही हुए थे कि उसका शरीर अकड़ने लगा और वो बेड पर ही झटके लेने लगी. फिर कुछ सेकेंड में ही वो झड़ गई और उसके झड़ते ही वो एकदम से शांत होकर बेड पर लेटी रही.

छोटी बहन की गांड का मज़ा

हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम आरिफ़ है और मेरी उम्र 23 साल है, मेरी हाईट 5.6 और में कर्नाटक का रहने वाला हूँ. दोस्तों में बहुत दिनों से सेक्सी कहानियाँ पढ़ता आ रहा हूँ और उसमें से मुझे भरपूर सेक्स वाली कहानियाँ बहुत पसंद आती है और आज में आप सभी को भी अपनी ज़िंदगी की एक सच्ची कहानी बताने जा रहा हूँ. दोस्तों यह कहानी मेरी और मेरी बहन सना की है.
दोस्तों मेरे घर में हम पांच लोग रहते है, मम्मी, पापा मेरी एक बड़ी बहन में और मेरी एक छोटी बहन. मेरे पापा एक सरकारी स्कूल में टीचर है और मेरी मम्मी एक ग्रहणी और हम लोग एक सामान्य परिवार से है. हमारे घर में दो कमरे और एक हॉल और एक किचन है. दोस्तों सबसे पहले में आपको अपनी छोटी बहन का परिचय दे देता हूँ, उसका नाम सना है और उसकी उम्र 20 साल है. उसके फिगर तो दोस्तों पूछो ही मत, क्या सेक्सी लगते है? में आपको उसके फिगर का साईज बता देता हूँ, 30-26-34 जिसको देखते ही किसी का भी लंड खड़ा हो जाए.
दोस्तों यह बात आज से करीब एक साल पहले शुरू हुई जब में घंटो बैठकर इसकी सेक्स कहानियाँ पड़ता रहता था और फिर मुठ मारकर ठंडा हो जाता था. तभी एक दिन मैंने सोच लिया कि आज से मुठ मारना बंद अब कुछ करते है, जैसा कि मैंने पहले आपको बताया कि हमारे घर में दो कमरे है, एक में मम्मी और पापा और दूसरे कमरे में मेरी बड़ी दीदी उसके पास में मेरी छोटी बहन और में बिल्कुल आखरी में सो जाया करता था.
उस समय बारिश का मौसम था और हमारे यहाँ पर लाईट चले जाने की बहुत समस्या रहती है तो इसलिए हम लोग 11 बजे के आस पास सो जाया करते थे और हम जिस रूम में सोते थे उस रूम की लाईट बंद रहती थी, लेकिन हॉल की लाईट और घर के पीछे की रोड़ लाईट की रोशनी से हमारे रूम में हमेशा रोशनी रहती थी और जब भी लाईट जाती थी तो में बहुत खुश हो जाता था और रूम में पूरा अंधेरा हो जाता था और अब में मुठ मारना छोड़ चुका था, जिसकी वजह से मेरी सेक्स की भूख दिनों दिन बढ़ती ही जा रही थी तो में रात को मौका देखकर अपनी अंडरवियर खोलकर अपने लंड से खेला करता था, मेरा लंड करीब 8 इंच लंबा है और मोटा है और मुझे अपने लंड से खेलने में बहुत मज़ा आता था. एक दिन रात को करीब एक बज चुके थे और में अब भी अपने लंड से खेल रहा था और लाईट अभी भी नहीं गई थी और बारिश का मौसम होने की वजह से बाहर बहुत ज़ोर से बिजली कड़क रही थी, मेरे पास में हर रात की तरह मेरी छोटी बहन सोई हुई थी और हमारे दोनों के बीच में हमेशा एक तकिया रहता था.
मैंने देखा कि मेरी बहन का एक हाथ तकिए पर था. मैंने बहुत देर तक सोचा कि में क्या करूं क्या ना करूं? फिर ऐसा ही सोचकर सो गया, लेकिन अगले दिन में सुबह से ही सोचता रहा कि मुझे पिछली रात को कुछ करना था. फिर वो दिन गया और रात आई और उस दिन बहुत बारिश हो रही थी और में आज भी हमेशा की तरह अपने लंड से खेल रहा था. फिर मैंने देखा कि आज भी मेरी छोटी बहन का हाथ वहीं पर था और मैंने थोड़ी हिम्मत करके अपना लंड उसके हाथ में दे दिया और में ऐसे ही लेटा रहा. वो उस समय गहरी नींद में थी. फिर मैंने थोड़ी और हिम्मत की और उसका हाथ पकड़कर उसकी मुट्ठी को बंद कर दिया, जैसे कि उसने खुद मेरा लंड पकड़ा हो, मुझे बहुत मज़ा आ रहा था और में हल्के हल्के से दबा रहा था, थोड़ी देर बाद मैंने उसका हाथ हटाकर अपने हाथ से मुठ मारी और फिर सो गया.
अगले दिन फिर रात हुई और लाईट चली गई और उस समय सब लोग सोए हुए थे और में अकेला नंगा जाग रहा था. आज मैंने कुछ अलग करने का सोचा था, सना मेरे पास में सो रही थी. मैंने नींद में होने का नाटक करके अपना हाथ उसके पेट पर रख दिया और वो उस समय गहरी नींद में थी, उसे कुछ महसूस नहीं हुआ.
फिर मैंने थोड़ी और हिम्मत की और अब में उसके बूब्स को दबाने लगा, वाह दोस्तों उसके क्या मस्त बूब्स थे, बिल्कुल गोल गोल नरम नरम. दोस्तों मैंने आज पहली बार किसी लड़की के बूब्स पकड़े, दबाए और छूकर महसूस किए थे. मुझे यह सब करने में बहुत मज़ा आ रहा था और में ऐसे ही करीब तीस मिनट तक उसके बूब्स पर अपने हाथ फेरता रहा और में उसके बाद में मुठ मारकर सो गया, लेकिन अब उसके बूब्स को दबाने के बाद मेरी हिम्मत बहुत बढ़ चुकी थी और में अब अपनी पढ़ाई में नहीं अपनी बहन को चोदने में अपना पूरा पूरा ध्यान लगा रहा था. फिर से रात हुई और आज मेरी बहन करवट लेकर सोई हुई थी और उसका हाथ उस तकिए पर ही था. फिर मैंने उसका हाथ पकड़कर अपना लंड उसके हाथ में दे दिया और अब में अचानक से हैरान और बहुत परेशान हो गया कि मेरी बहन ने अपना हाथ बंद कर लिया था और उसने मेरे लंड को ज़ोर से पकड़ लिया. अब मुझे बिल्कुल भी समझ नहीं आ रहा था कि में क्या करूं? फिर मैंने सोचा कि में अब इंतजार करके देखता हूँ कि यह इसके आगे क्या करेगी?
अब अगले दस मिनट तक वो ऐसे ही पकड़े रही, लेकिन अब उसके हाथ की गरमी से मेरा 8 इंच का लंड पूरा का पूरा तन चुका था और मुझसे बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं हो रहा था. फिर में सीधा सो गया, लेकिन अभी भी वो मेरे लंड को पकड़े हुई थी. फिर मैंने हिम्मत करके अपने हाथ से उसके हाथ को पकड़कर हिलाने लगा. दोस्तों अब मेरी बहन मेरा लंड हिला रही थी और फिर कुछ देर बाद में उसके हाथ पर झड़ गया और मेरा वीर्य बहुत सारा उसके हाथ में आ गया.
फिर मैंने उसका हाथ अपनी अंडरवियर से साफ किया और उसके हाथ को तकिए पर रख दिया. अगले दिन सुबह वो उठी और उसने मुझे उठाया और मुझसे कहा कि भैया उठो, आज पापा स्कूल नहीं जा रहे है, तुम मुझे कॉलेज छोड़ दो और में उठ गया, लेकिन मैंने देखा कि आज मेरी बहन का व्यहवार मेरे लिए बहुत अलग था, वो आज बहुत हंस रही थी और उसकी इस हंसी में बहुत मस्ती थी. फिर में तैयार हो गया और उसको अपनी बाईक पर बैठाकर कॉलेज छोड़ने निकला और कुछ देर बाद मैंने देखा कि आज तक मेरी बहन ने मुझे कंधे पर नहीं पकड़ा था, लेकिन आज उसने मेरे कंधे पर हाथ रखकर वो मेरे कंधे को दबा रही है, जैसे कोई किसी चीज़ को मस्ती में मसलता है वैसे ही वो मेरे कंधे को मसल रही थी. अब में समझ गया कि वो रात वाली बात उसको पता चल चुकी है और वो उससे बहुत खुश है. दोस्तों अब मेरी खुशी का तो कोई ठिकाना ही नहीं था. मैंने सोचा कि आज मुझे इसके कुछ आगे बढ़ना होगा.
फिर दोपहर को वो अपने कॉलेज से आई और उस समय में भी घर में ही था और वो मुझसे छेड़छाड़ करने लगी और में भी उससे मस्ती करने लगा और मैंने मस्ती मस्ती में उसकी गांड पर मारा तो मैंने महसूस किया कि उसकी गांड बहुत ही नरम नरम थी, लेकिन वो मुझसे कुछ नहीं बोली और इतने में मम्मी आ गई और हमने अपनी मस्ती को वहीं पर बंद कर दिया.
फिर कुछ घंटो बाद रात हो गई और मेरे अंदर का शैतान फिर से जाग उठा और रोज़ की तरह में अपनी अंडरवियर को नीचे करके लाईट जाने का इंतज़ार कर रहा था और इतने में लाईट चली गई, लेकिन आज मेरी बहन मेरी तरफ अपनी गांड करके सोई हुई थी. फिर मैंने अपना हाथ उसकी गांड पर फेरने लगा, लेकिन उसकी तरफ से कोई हरकत नहीं हुई तो मुझमें और हिम्मत आ गई. मैंने हम दोनों के बीच का तकिया निकाल दिया और अब में उससे चिपककर सो गया और में अपना लंड उसकी गांड पर दबाकर सो गया. दोस्तों में आपको शब्दों में नहीं बता सकता कि वो कैसा एहसास था और उसके बालों की वो भीनी भीनी खुशबु मुझे पागल किए जा रही थी और में सोचकर बहुत हैरान था कि उसकी तरफ से कोई भी हरकत नहीं हुई और वो मुझे ऐसा जता रही थी कि वो गहरी नींद में है और मज़े भी ले रही थी.
फिर में ऐसे ही बहुत देर तक लेटा रहा और जब मुझे लगा कि में अब झड़ने वाला हूँ तो मैंने अपनी अंडरवियर पहन ली और फिर से अपनी बहन की गांड को उसकी सलवार के ऊपर से ही अपना लंड लगाकर लेटा रहा और थोड़ी देर में मेरा पूरा का पूरा वीर्य मेरी बहन की गांड पर निकल गया, वाह दोस्तों वो क्या एहसास था कि में उसे पूरी ज़िंदगी भूल नहीं सकता. में अपनी जगह पर ही सो गया और फिर थोड़ी देर बाद मैंने सना की गांड पर हाथ लगाकर देखा तो उसकी गांड मेरे वीर्य से भीग चुकी थी और फिर में ना जाने कब सो गया. फिर रात को में पानी पीने के लिए फिर से उठा तो मैंने देखा कि मेरी बहन चादर के अंदर से अपनी चूत में उंगली डालकर मज़े ले रही थी और अब मैंने बहुत सोचा कि में क्या करूं? फिर मैंने सोचा कि आज के लिए इतना बहुत है और में सो गया.
अगले दिन मेरी हिम्मत आसमान पर थी और पूरा दिन में सोचता रहा कि मेरी छोटी बहन मेरे सामने अपनी चूत में उंगली कर रही थी और मैंने कुछ नहीं किया? फिर में मेडिकल शॉप पर कंडोम लेने के लिए चला गया और आज से पहले मैंने कभी भी कंडोम काम में नहीं लिया था, मुझे बहुत डर लग रहा था. फिर मेडिकल शॉप की सभी ग्राहक जाने के बाद मैंने अपने मोबाईल में कंडोम लिखकर दुकानदार को दिखाया और उसने मुझे कंडोम दे दिया. फिर में घर गया और रात होने का इंतजार करने लगा.
फिर रात हो गई और आज तो शाम 8 बजे ही लाईट चली गई और घर के सब लोग खाना खाने के बाद सो गए और में भी थोड़ी देर मोबाईल पर कुछ देखता रहा और फिर सोने के लिए चला गया. रात को मेरी बहन सोने का नाटक करके जाग रही थी, उसने अपना दुपट्टा उतारकर अपने मुहं पर डाल रखा था और उसका कुर्ता उसके पेट के ऊपर था, जिसकी वजह से मुझे उसकी नाभि दिख रही थी. अब में समझ गया था कि मेरी छोटी डार्लिंग आज बिल्कुल तैयार होकर सोई हुई है. मैंने बाथरूम में जाकर अपनी अंडरवियर को उतार दिया और में सिर्फ़ केफ्री पहनकर आ गया और लेट गया और अब में नींद लगने का नाटक करने लगा और थोड़ी देर बाद मैंने अपने हाथ को अपनी छोटी बहन के नंगे पेट पर रख दिया, वाह दोस्तों क्या समा था. मैंने महसूस किया कि उसका पेट बिल्कुल ठंडा था और जैसे ही मैंने अपना हाथ उसके पेट पर रखा तो वो काँपने लगी, लेकिन फिर भी मैंने अपना हाथ ऐसे ही रखा.
फिर उसने कुछ नहीं किया और मेरी हिम्मत और भी बढ़ी. अब में हल्के हल्के अपना हाथ नीचे सरकाने लगा और अब मेरा हाथ उसकी चूत के बिल्कुल करीब था. दोस्तों उसने भी आज अपनी पेंटी नहीं पहनी थी, क्योंकि मुझे उसकी सलवार के ऊपर से उसकी चूत के वो नरम नरम बाल महसूस हो रहे थे. फिर मैंने अपना हाथ और थोड़ा नीचे किया और में उसकी चूत के छेद के एकदम पास था और उसने आज सलवार बहुत पतली पहनी हुई थी, क्योंकि मुझे उसकी पूरी की पूरी चूत महसूस हो रही थी.
मैंने गौर किया कि मेरे हाथ रखने से मेरी बहन की चूत थोड़ी सी गीली हो गई है और फिर में ऐसे ही धीरे से सहलाने लगा. मुझे 100% भरोसा था कि वो भी मेरे साथ साथ पूरे मज़े ले रही है. फिर मैंने अपना हाथ ऊपर करके उसकी सलवार का नाड़ा खोल दिया और उसकी सलवार को थोड़ा नीचे कर दिया, वाह दोस्तों उसकी क्या मस्त गोरी गोरी टांगे वो गोरी गोरी चूत. मुझसे अब बिल्कुल बर्दाश्त ही नहीं हो रहा था. फिर मैंने अपना एक हाथ उसकी नंगी चूत पर रख दिया. दोस्तों में आज पहली बार किसी लड़की की चूत को छू रहा था और वो भी मेरी बहन की नंगी, गरम, प्यासी चूत को.
फिर मैंने अपनी एक उंगली उसकी चूत में डाली और मैंने महसूस किया कि उसकी बहुत टाईट चूत थी और उसकी चूत थोड़ी गीली भी थी. फिर मैंने थोड़ा ज़ोर लगाकर अपनी उंगली को उसकी चूत में डाल दिया, जिसकी वजह से उसको शायद थोड़ा दर्द हुआ और वो सिसक गई. फिर मैंने अपना हाथ बाहर निकाल लिया और फिर थोड़ी देर के बाद मैंने अपना हाथ उसकी चूत पर रख दिया और उसकी चूत को मसलने लगा और वो बहुत मज़े ले रही थी और थोड़ी ही देर बाद उसका पानी निकल गया और वो मेरी तरफ अपनी गांड करके सो गई और अभी भी उसकी सलवार उसके पैरों तक ही थी और में सना की नंगी गांड पर हाथ फेरने लगा, उसकी नरम गांड मस्त थी? फिर मुझे याद आया कि मैंने कंडोम लिया है.
फिर मैंने कंडोम निकाला और अपने लंड पर लगा लिया और अपने लंड को अपनी छोटी बहन की गांड पर रख दिया और अब में उसकी गांड को दबाने लगा, लेकिन में उसकी चूत या गांड में लंड डालने के लिए डरने लगा, लेकिन मैंने थोड़ी सी हिम्मत करके उसकी गांड को अपने दोनों हाथों से खोल दिया और अपने लंड को उसकी गांड के छेद के पास ले गया और अब लंड को अंदर डालने लगा तो मेरे एक झटका देते ही शायद उसको बहुत दर्द हुआ और वो सिसक गई. फिर मैंने अपना लंड हटा दिया और उसकी गांड पर रखकर ऐसे ही रगड़ने लगा और अभी भी वो वैसे ही लेटी हुई थी, उसकी तरफ से कोई भी हलचल नहीं हुई थी और लंड को गांड पर बहुत देर तक रगड़ने के बाद में झड़ गया और मैंने उसकी सलवार ऊपर की और कंडोम को बाहर फेंककर सो गया.
दोस्तों अभी तक तो में अपनी बहन के ऊपर से ही मज़े ले रहा था, लेकिन मेरा मन अब उसे जमकर चोदने का था, लेकिन मुझे कोई अच्छा सा मौका नहीं मिल रहा था और इस बीच मेरे पेपर आ गये और में अपनी पढ़ाई करने लगा और थोड़े दिन यह सब काम बंद था और फिर मेरे पेपर भी खत्म हो गए. फिर में मेरी बहन को चोदने के मौके की तलाश में था. फिर मेरे दिमाग़ में एक विचार आया तो मैंने कुछ नंगी फोटो मेरे कंप्यूटर में डाल दी. दोस्तों मेरे घर में मुझे और सना को ही कंप्यूटर चलाना आता था. फिर में वो देखकर अपने लंड पर हाथ फेरने लगा तो इस बीच सना मेरे पास आने लगी. फिर मैंने जल्दी से उसे बंद किया और वो मेरे पास आई और मुझसे पूछने लगी कि क्या कर रहे हो? फिर मैंने कहा कि कुछ नहीं अभी भी मेरा लंड खड़ा ही था तो उसने मेरे लंड को देखा और चली गई.
फिर मैंने उससे पानी लाने को कहा तो वो आई और जब वो मेरे पास आई तो में अपने कंप्यूटर में गेम खेल रहा था, उसने मुझे पानी दिया और मेरे कंधे पर हाथ रखकर मेरे पास में खड़ी हो गई और वो कुछ इस तरह से खड़ी हुई थी कि अगर में ग्लास देने के लिए अपना हाथ आगे बढ़ाता तो उसके बूब्स को छू जाता और फिर हुआ भी कुछ ऐसा ही, मैंने उसके बूब्स को छूआ और फिर वो हंसकर चली गई और मुझे ग्रीन सिग्नल मिल गया था. उस दिन रात को मेरी बड़ी दीदी देर तक पढ़ाई कर रही थी, इसलिए मुझे कुछ करने का मौका नहीं मिला और अगले दिन रात को में नंगा लेटा हुआ था और सबके सोने का इंतज़ार करने लगा था.
अब सब सो गये और मैंने अपनी बहन का हाथ लेकर अपने लंड पर लगाया और उससे मसलने लगा, बहुत देर तक खेलता रहा और उसने अपना हाथ भी नहीं हटाया. फिर में उसका हाथ लेकर अपनी छाती पर फेरने लगा तो उसने हाथ हटा लिया और आज पहली बार उसने मेरे लंड पर अपना पैर रखा और अब में समझ गया कि आज मेरी बहन अपने भाई से चुदने जा रही है. फिर मैंने उसकी गांड को पकड़कर अपने ऊपर ले लिया और अब मेरी बहन मेरे ऊपर थी और में पूरा नंगा था. मेरा लंड उसकी चूत पर छू रहा था और उसके बड़े बड़े बूब्स मेरी छाती से टकरा रहे थे. मैंने ऐसे ही उसको अपने ऊपर रखा और थोड़ी देर बाद मैंने उसकी सलवार को खोल दिया और अभी भी वो मेरे ऊपर ही थी. दोस्तों आज पहली बार मेरा लंड और मेरी बहन की तड़पती हुई चूत आपस में एक दूसरे को छू रहे थे और मेरे लंड के बाल और मेरी छोटी बहन की चूत के बाल आपस में एक दूसरे को छू रहे थे और थोड़ी देर तक में अपनी बहन की चूत को अपने लंड से रगड़ता रहा और अब मैंने उसको अपने ऊपर लेटाकर ही चोदने की बात सोची और में अब उसकी चूत के मुहं पर अपने लंड को रखकर अंदर धकेलने लगा, लेकिन वो अंदर जा ही नहीं रहा था और इस बीच हॉल की लाईट चालू हो गई और में समझ गया कि कोई आ गया है.
फिर मैंने अपनी बहन को उसकी जगह पर लेटा दिया और उसका हाथ लेकर मेरे लंड पर लगा दिया और आज उसने अपने आप ही मेरा लंड हिलाया और में झड़ गया और हम दोनों सो गए. दूसरे दिन वो बहुत उदास थी, क्योंकि मुझे किसी जरूरी काम के लिए बेंगलोर जाना था और आने के बाद मेरे अंकल की शादी थी तो ऐसे ही एक महीना गुज़र गया और आज वो दिन आ गया जब मेरे और मेरी बहन का सुहाग दिन होने वाला था. दोपहर को दीदी कॉलेज गई हुई थी, पापा ड्यूटी पर और मेरी माँ पड़ोसे वाली दादी को लेकर हॉस्पिटल गई हुई थी. अब घर में मेरी छोटी बहन सना को छोड़कर कोई भी नहीं था, में घर आ गया और मैंने देखा कि आज घर पर कोई नहीं है तो में बहुत खुश हुआ और मैंने जाकर टी.वी. चालू किया और देखने लगा. इस बीच सना मेरे पास आई और हम दोनों टी.वी. देखने लगे.
फिर मैंने कहा कि सना यहाँ आओ. में उस समय स्टील की कुर्सी पर बैठा हुआ था और फिर सना आकर मेरे पास में खड़ी हुई थी. फिर मैंने उससे कहा कि तुम आज बहुत अच्छी दिख रही हो तो वो हंसी और कहने लगी कि में हर रोज़ ऐसी ही दिखती हूँ. फिर मैंने उसका हाथ पकड़ा और उसे अपनी गोद में यानी पैरों पर बैठा लिया और वो बोली कि क्यों आज तक तो कभी आपने मुझे ऐसे नहीं बैठाया और आज क्यों?
फिर मैंने कहा कि आज मेरा तुम्हे बहुत प्यार करने का मूड हो रहा है और अब में उसकी पीठ पर किस करने लगा और वो अचानक से उठ गई और बोली कि यह सब बिल्कुल भी ठीक नहीं है. फिर मैंने कहा कि अगर यह ठीक नहीं है तो तुम रात को मज़े क्यों लेती हो? वो कुछ नहीं बोली और मैंने उसको अपनी तरफ खींचकर अपनी बाहों में जकड़ लिया और उसके होठों पर किस करने लगा. वो थोड़ी देर तक मना करती रही, लेकिन फिर उसने भी मेरा साथ देना शुरू किया और वो मेरे बाल पकड़कर ज़ोर ज़ोर से किस कर रही थी. फिर मैंने उससे कहा कि चलो मम्मी, पापा के बेड पर चलते हैं और फिर हम चले गये. फिर मैंने अपनी बहन को अपनी दुल्हन की तरह गोद में उठाया और बेड पर ले जाकर बैठा दिया और वो किसी भूखी शेरनी की तरह मुझे किस करने लगी.
फिर मैंने उससे कहा कि क्यों तुम ब्लू फिल्म देखकर बहुत कुछ सीख गई हो? तभी उसने मुझसे पूछा कि आपको कैसे पता चला? मैंने कहा कि मुझे सब कुछ पता है और फिर उसने मुझसे कहा कि चलो आज हम जैसा ब्लू फिल्म में होता है वैसे ही करेंगे. फिर मैंने कहा कि क्यों नहीं मेरी जान? फिर में मेरी शर्ट उतारकर लेट गया और वो मेरे ऊपर आ गई और मुझे किस करने लगी, पहले गालों पर, फिर गले पर, फिर मेरी छाती पर, ऐसे करते करते वो मेरे लंड तक चली गई. फिर उसने मेरे लंड को बाहर निकाला और पेंट को उतारकर फेंक दिया और बोली कि भैया आपका लंड इतना बड़ा है. मैंने आज तक इसको आँख बंद करके ही महसूस किया था, लेकिन आज पहली बार में इसको अपनी आँखो से देख रही हूँ. फिर मैंने बोला कि बहना आज इसे खाकर भी महसूस करो, जैसा कि ब्लूफिल्म में तुमने देखा था.
फिर उसने मेरा लंड अपने मुहं में लिया और चूसने लगी, लेकिन उसने अब तक सिर्फ़ मेरे लंड का सुपाड़ा ही मुहं में लिया था. फिर मैंने उससे कहा कि पूरा अंदर ले लो, तुम्हे ऐसा करने से बहुत मजा आएगा फिर वो तुरंत नीचे लेटकर लंड चूसने लगी और मेरा पूरा लंड अपने मुहं में लेने लगी, आअहह उूफफ्फ़ हाँ और ज़ोर से चूसो मेरी रंडी हाँ और ज़ोर से मैंने उससे बोला.
फिर उसने कहा कि भैया में तुम्हारी बहन हूँ कोई रंडी नहीं. फिर मैंने कहा कि तुम ऐसे चूसोगी तो रंडी ही लगोगी और फिर उसको जोश आया तो वो और ज़ोर ज़ोर से चूसने लगी, मुझे ऐसा मज़ा आज तक नहीं आया था और अब वो लगातार चूसने लगी. फिर दस मिनट के बाद मैंने अपना पूरा वीर्य उसके मुहं में छोड़ दिया और वो परेशान हो गई कि यह क्या है इसका मज़ा तो बिल्कुल अलग है. फिर वो उठी और बाथरूम में जाकर उसने पानी से अपना मुहं धो लिया.
फिर में अपनी छोटी बहन को लेटाकर उसके बूब्स को दबाने लगा और उसके निप्पल को चूसने लगा, वो आआअहह उूउऊहह वाह बहुत मज़ा आ रहा है भैया और चूसो कहने लगी और में उसके बूब्स को दबाने लगा, आआहह भैया उूउऊहह उफफफफफ्फ़ और फिर वो चिल्लाने लगी कि इतना ज़ोर से मत दबाओ, दर्द हो रहा है. फिर मैंने अब आहिस्ता आहिस्ता किस करते करते उसकी नाभि तक आ गया. सना ने कहा कि भैया जैसा ब्लू फिल्म में एक आदमी औरत को नीचे से चाटता है प्लीज आप भी ठीक वैसे ही करो ना. फिर मैंने कहा कि क्यों नहीं मेरी प्यारी सेक्सी बहन. फिर मैंने अब नीच होकर उसकी सलवार को उतार दिया और मैंने देखा कि उसने काली कलर की पेंटी पहनी हुई थी, उन गोरे गोरे पैरों के बीच वो काली पेंटी मेरी बहन तो उस दिन सेक्सी माल लग रही थी.
फिर में उसकी पेंटी के ऊपर से ही चूत को सहलाने लगा और थोड़ी देर सहलाने के बाद मैंने उसकी पेंटी को निकाल दिया, वाह दोस्तों क्या नज़ारा था और मेरी बहन ने आज ही अपनी चूत के बाल साफ किए थे. मेरी बहन की कुँवारी चूत देखकर में तो पागल हो गया. फिर मैंने उसकी चूत में एक उंगली डाली, लेकिन एक उंगली भी उसमें बहुत मुश्किल से जा रही थी और थोड़ी देर बाद उंगली करने के बाद मैंने उसकी चूत को चाटना शुरू किया, वाह क्या टेस्ट था थोड़ा नमकीन मीठा. अब वो जोश में आवाज़े निकालने लगी, आआआहह भैया उूफफफफ्फ़ आईईईईईईईई भैया बहुत मज़ा आ रहा है और ज़ोर से चाटो और चाटो कहते हुए वो मेरे सर को पकड़कर अपनी चूत पर धकेलने लगी, मेरी बहन अब पूरे जोश में आ गई थी, आआअहह उूईईईईईईईईईईईई.
फिर करीब दस मिनट तक चूत चाटने के बाद वो झड़ गई और उसका पूरा पानी मेरे चेहरे पर आ गया और उसका पूरा बदन काँप रहा था और बहुत ज़ोर ज़ोर से काँप रहा था. फिर मैंने अपने बचे हुए कपड़े भी उतार दिए और अब हम दोनों भाई, बहन पूरे नंगे थे. फिर वो पूछने लगी कि भैया में अब और चूसूं? फिर मैंने कहा कि पूछती क्या हो? उसने फिर से चूसना शुरू किया, वो वाह क्या मस्त चूसती है और थोड़ी देर चूसने के बाद मैंने उससे कहा कि अब तुम लेट जाओ, अब मेरा काम होगा.
फिर उसने पूछा कि काम क्या? मैंने अब अपना लंड उसकी चूत के मुहं पर रख दिया और धीरे धीरे अंदर धकेलने लगा, लेकिन वो अंदर जा ही नहीं रहा था, क्योंकि मेरी बहन की चूत इतनी टाईट थी. फिर में उठकर गया और वेसलिन लेकर आया और फिर उसकी चूत पर लगाकर अपना लंड अंदर धकेलने लगा और आधा लंड अंदर जाते ही मेरी बहन ज़ोर से चिल्लाई आआआहह भाईईईयाआआ प्लीज बाहर निकालो, बहुत दर्द हो रहा है.
फिर मैंने उसके होंठो पर अपने होंठ लगाकर किस करते करते एक झटके से अपना पूरा 8 इंच का लंड उसकी छोटी सी चूत में घुसा दिया और वो बिना पानी की मछली की तरह तड़पने लगी. में अपना लंड उसकी चूत में अंदर बाहर करने लगा, लेकिन थोड़ी देर तड़पने के बाद वो शांत हो गई और उसको भी मज़ा आने लगा था और वो चिल्लाने लगी, आआआहह भैयाआआ और ज़ोर से डालो, ज़ोर से डालो, उुफफफफफफ्फ़ मैंने कहा कि बहना डर मत, आज में तेरी चूत फाड़ डालूँगा ऊऊऊऊऊऊऊहह आआहहहह.
15 मिनट तक चुदाई करने के बाद वो झड़ गई. फिर जब वो झड़ी तो मेरा लंड अंदर ही था और उसकी चूत इतनी टाईट हो गई थी कि मानो मेरे लंड को कोई हथोड़े से दबा रहा हो और ऐसा लग रहा था में और ज़ोर से धक्के देने लगा आुउऊहह फफकककककक में तुमसे बहुत प्यार करता हूँ सना. फिर उसने कहा कि में भी आपसे बहुत प्यार करती हूँ भैया और ज़ोर से चोदो मुझे ज़ोर ज़ोर से चोदो भैया करीब बीस मिनट तक चोदने के बाद में अपनी बहन की चूत में ही झड़ गया. अब हम दोनों नंगे थककर एक दूसरे के ऊपर पड़े हुए थे. उस दिन हम दोनों ने दो घंटे तक चुदाई की और शाम को मैंने मेडिकल से एक आईपिल लाकर उसको खिलाई और उसके बाद से अब तक हम जब भी मौका मिलता तो हम ज़रूर चुदाई करते है. दोस्तों मेरा मानना है कि घर में चुदाई करना बहुत आसान और सुरक्षित भी है.